कोरोना के नए वैरियंट ओमिक्रोन को लेकर जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग सतर्क हो गया है। केंद्र सरकार द्वारा अलर्ट किए जाने के बाद यहां पर भी सावधानी बरती जाने लगी है। दूसरे शहरों, राज्यों व देशों से आने वालों की कोरोना जांच को एक बार फिर अनिवार्य कर दिया गया है। सरकारी अस्पतालों के अलावा रेलवे स्टेशनों व बस स्टैंडों पर मौजूद स्वास्थ्य कर्मियों को निर्देश दिया गया है कि बाहर से आने वाले अधिक से अधिक यात्रियों की सैंपल संग्रहित कर जांच करें। आवश्यकता पड़े तो अतिरिक्त सैंपल संग्रहण सह जांच केंद्र को खोला जाए। इसके अलावा कोविड टीकाकरण के दोनों डोज को लेने पर भी बल दिया जा रहा है।
डीआइओ डाक्टर आरकेपी साहु की माने तो ओमिक्रोन वैरियंट डेल्टा से भी अधिक खतरनाक है। टीका लेने के बाद भी 40 फीसद रोग प्रतिरोधक क्षमता को कम करने वाला यह वैरियंट है। इसलिए जिसने अभी तक सिर्फ एक डोज लिया है, उसे दोनों खुराक की टीका जल्द लेने की जरूरत है ताकि वह बूस्टर डोज के हकदार हो सके। रोजाना औसतन पांच हजार कोरोना सैंपल की जांच की जा रही है। रेलवे स्टेशन पर सैंपल जांच का कार्य तेजी से किया जा रहा है। जिले में फिलहाल कोरोना का एक मामला सक्रिय है। नए संक्रमण को देखते हुए उन्हें होम आइसोलेशन में ही रहने की सलाह दी गई है। सोमवार को 4980 सैंपल की जांच हुई जांच में एक भी व्यक्ति का रिपोर्ट पाजीटिव नहीं आया है। रेलवे स्टेशन पर 180 यात्रियों का सैंपल संग्रहित किया गया।
जिले में 22.62 लाख लोगों को लगा कोरोना का टीकासासाराम(जागरण संवाददाता)। रोहतास। मिशन छह करोड़ टीकाकरण लक्ष्य को पूरा करने को लेकर जिले में चल रहे टीकाकरण अभियान में अबतक 22.62 लाख से अधिक कोरोना का टीका लगाया जा चुका है। जिसमें से सिर्फ 6.76 लाख लोगों ने दोनों खुराक का टीका लिया है। वही 15.86 लाख लोग मात्र पहले डोज का ही टीका ले पाए हैं। जिले में दूसरे डोज की टीका लेने की गति काफी धीमी है, जबकि वैक्सीनेशन के लक्ष्य को पूरा करने के लिए नाइन टू नाइन से लेकर 24 घंटे टीकाकरण केंद्र का संचालन किया जा रहा है। सबसे अधिक सासाराम में टीकाकरण किया गया है। 3.43 लाख में से 1.42 लाख ग्रामीण व 2.02 लाख टीकाकरण शहरी इलाके में संचालित केंद्रों पर किया गया है।