भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। कोविड महामारी के कारण पिछले 22 दिनों से बंद महाप्रभु जगन्नाथ जी का कपाट आज सुबह 6 बजे से पुन: खोल दिया गया है। भक्तों के लिए महाप्रभु का कपाट खुलते ही जय जगन्नाथ, नयन पथगामी भव तुमे.. के जयकारे से पूरा बड़दांड गुंजयमान हो गया। सुबह से ही कतारबद्ध होकर श्रद्धालु महाप्रभु का दर्शन कर हैं।
जानकारी के मुताबिक सुबह 6 बजे से ही भक्त कतारबद्ध होकर महाप्रभु का दर्शन कर रहे है। मंदिर के बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। कोरोना के दोनों डोज लेने वाले भक्तों को प्रमाणपत्र दिखाने के बाद मंदिर के अन्दर जाने की अनुमति दी जा रही है। उसी तरह से जिन भक्तों को कोरोना टीका का दोनों डोज नहीं लगा है उन्हें आरटीपीसीआर निगेटिव रिपोर्ट दिखानी पड़ रही है। मंदिर में भक्तों के प्रवेश करने से पहले कियोस्क में जांच के बाद मंदिर के अन्दर छोड़ा जा रहा है। पहले की ही तरह पुरी शहर के लोग आज पश्चिम द्वार से प्रवेश किए जबकि अन्य भक्त पूर्वी द्वार से प्रवेश किए हैं।
रविवार को बंद रहेगा महाप्रभु का दर्शन
मंदिर को सैनिटाइज करने के लिए रविवार के दिन मंदिर का कपाट भक्तों के लिए बंद रहेगा। रविवार के अलावा 6 दिन सुबह 6 से रात 9 बजे तक महाप्रभु का कपाट भक्तों के लिए खुला रहेगा। श्रीमंदिर के मध्य भाग में प्रवेश के लिए भक्तों को परिचय पत्र दिखाना होगा। मास्क पहनना एवं हाथ सैनिटाइज करना भी अनिवार्य किया गया है। नियम का उल्लंघन होने पर जुर्माने के साथ ही मंदिर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। पुरी जिलाधीश समर्थ वर्मा ने कहा है कि रात के समय लगने वाला कर्फ्यू जारी रहेगा। लगभग 200 से 300 योग्य सेवकों को कोविड वैक्सीन का बूस्टर डोज लगाया जा चुका है अन्य को उनकी दूसरी खुराक से नौ महीने की अवधि पूरी होने के पश्चात लगाया जाएगा।
गौरतलब है कि कोरोना संक्रमण बढ़ने के कारण पुरी जगन्नाथ मंदिर को 10 जनवरी से 31 जनवरी, 2022 तक के लिए बंद कर दिया गया था। पुरी कलेक्टर और श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन (एसजेटीए) के उप मुख्य प्रशासक समर्थ वर्मा ने मंदिर को बंद करने के बारे में सूचित किया था क्योंकि मंदिर प्रशासन के कई सेवकों और कर्मचारी कोरोना से संक्रमित मिले थे।