झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन राज्य में व्याप्त बिजली संकट को दूर करने में खुद जुट गए हैं। उन्होंने इसके लिए बुधवार को डीवीसी चेयरमैन रामनरेश सिंह के साथ बैठक की और अतिरिक्त 150 मेगावाट बिजली देने की बात कही। इसके बाद डीवीसी ने अतिरिक्त आपूर्ति के लिए बिजली खरीद समझौता करने की बात कही है।
बैठक के दौरान सीएम ने कहा है कि सरकार नियमित रूप से डीवीसी को भुगतान करेगी। इसके बाद डीवीसी चेयरमैन ने शीघ्र अतिरिक्त बिजली की व्यवस्था करने की बात कही है। ऊर्जा विभाग के प्रधान सचिव अविनाश कुमार के मुताबिक डीवीसी फिलहाल 50 मेगावाट अतिरिक्त बिजली गुरुवार से देना शुरू कर देगा।
मुख्यमंत्री ने एक दिन पहले बिजली संकट दूर करने के लिए ऊर्जा विभाग को अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है। इसके बाद जेबीवीएनएल ने अतिरिक्त बिजली खरीद का प्रयास तेज कर दिया है। लेकिन एक्सचेंज में बिजली की उपलब्धता मांग के मुकाबले बहुत कम होने के कारण राज्यों को निराशा हाथ लग रही है। झारखंड को 120 मेगावाट अतिरिक्त बिजली बुधवार को मिल सकी। राज्य में बिजली की मांग 2600 मेगावाट रह रही है जबकि आपूर्ति 2100 मेगावाट हो सकी। इस कारण शहरों में चार तो गांवों में सात घंटे की कटौती की मार पड़ी।