Kanhaiyalal Postmortem Report: कन्हैया लाल (Kanhaiya Lal) प्रारंभिक पोस्टमार्टम रिपोर्ट में बॉडी पर दो दर्जन से ज्यादा निशान मिले हैं, जिसमें से 7-8 वार गर्दन पर किए गए थे.
Kanhaiyalal Postmortem Report: राजस्थान के उदयपुर में मारे गए कन्हैया लाल (Kanhaiya Lal) की प्रारंभिक पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई है, जिससे पता चला है कि गर्दन पर 7-8 वार किए गए थे, जबकि बॉडी पर दो दर्जन से ज्यादा निशान मिले हैं. बता दें कि मंगलवार को दिन-दहाड़े कन्हैया लाल नाम के एक दर्जी की तालिबानी तरीके से हत्या कर दी गई थी.
कन्हैया लाल के शरीर पर 2 दर्जन से ज्यादा निशान
कन्हैया लाल (Kanhaiya Lal) की प्रारंभिक पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कई बड़े खुलासे हुए हैं और शरीर पर दो दर्जन से ज्यादा घाव के निशान मिले हैं. पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार, कन्हैया लाल के गर्दन पर सात से आठ वार किए गए थे.
कन्हैया लाल एक हाथ भी कटा हुआ
पोस्टमार्टम रिपोर्ट से पता चला है कि कन्हैया लाल (Kanhaiya Lal) का एक हाथ भी कटा हुआ मिला है. रिपोर्ट के अनुसार, कन्हैया लाल की मौत की मुख्य वजह बहुत अधिक खून बहना और एक साथ ही कई नसों का काटा जाना है.
उदयपुर की घटना हत्याकांड नहीं, आतंकी हमला: भाजपा
भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने आरोप लगाया कि कन्हैयालाल की कथित तौर पर गला काटकर जान लेने की घटना कोई सामान्य हत्याकांड नहीं है बल्कि एक आतंकी हमला है. बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता और सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने यह आरोप भी लगाया कि राजस्थान कट्टरपंथियों का अड्डा बनता जा रहा है और देश के बाहर के आतंकी संगठनों को बढ़ावा देने के लिए राज्य की भूमि इस्तेमाल की जा रही है.
इस्लाम के अपमान का बदला लेने के लिए हत्या
बताया जा रहा है कि उदयपुर के धानमंडी थानाक्षेत्र में दो व्यक्तियों ने कन्हैयालाल नामक एक दर्जी की कथित रूप से गला काटकर हत्या कर दी. हत्यारों ने हत्या का वीडियो भी बना लिया और सोशल मीडिया पर एक वीडियो डालकर कहा कि उन्होंने ‘इस्लाम के अपमान’ का बदला लेने के लिए ऐसा किया.
CM गहलोत जिम्मेदारी लेकर पद से हटें: बीजेपी
राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) पर भी निशाना साधा और कहा कि नैतिकता का तकाजा है कि राज्य में लगातार हो रही इस प्रकार की घटनाओं की वह जिम्मेदारी लें और पद से हट जाएं. उन्होंने कहा, ‘हर चीज के लिए प्रधानमंत्री को वह जिम्मेदार कहते हैं तो कुर्सी क्यों नहीं छोड़ देते?’