Pitru Paskha 2022: हिंदू पंचांग के अनुसार आज पितृपक्ष की नवमी तिथि है और विधि-विधान से श्राद्ध कर्म करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है.
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Pitru Paksha 2022: हिंदू धर्म में पितृपक्ष का विशेष महत्व है और कहा जाता है कि पितरों की आत्मा की शांति के लिए विधि-विधान से श्राद्ध कर्म करना चाहिए. आज यानि 19 सितंबर को पितृपक्ष का नवमी तिथि है और इस दिन उन लोगों का श्राद्ध किया जाता है जिनकी मृत्यु नवमी तिथि के दिन हुई थी. श्राद्ध कर्म करते समय इसके नियमों का पालन अवश्य करना चाहिए. (Pitru Paksha 2022 Navmi) क्योंकि आपकी छोटी सी लापरवावही से यदि पितर नाराज (Pitru Paksha 2022 Tithi List) हो जाएं तो आपको परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है. पितरों को आशीर्वाद पाने के लिए पितृपक्ष में कुछ चीजों का दान करना काफी महत्वपूर्ण और फलदायी माना गया है
काला तिल
काला तिल का दान श्राद्ध में करें ऐसी मान्यता है की ऐसा करने से पितरों के तर्पण के निमित्त किसी भी चीज का दान करते समय काले तिल को लेकर दान करें. ये कहा जाता है की अगर इस दौरान अन्य वस्तुओं का दन न भी कर पाएं तो काले दिल का दान अवश्य करें. दान की दृष्टि से काले तिलों का दान संकट, विपदाओं से रक्षा करता है
चांदी
चांदी धातु से मिर्मित किसी भी वस्तु का देन अवश्य करना चाहिए, ऐसा करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है और साथ ही आर्शर्वाद प्राप्त होता है. चांदी देने से संबंध चंद्र ग्रह से है इसलिए श्राद्ध में चांदी,चावल,दूध से पितर को खुश करें.
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वस्त्र
श्राद्ध कर्म में वस्त्रों का दान करना चाहिए, मान्यताएं हैं कि जो व्यक्ति श्राद्ध करता है तो ऐसे में धोती,दुपट्टे का देन करें. ऐसे में वो वंशजों से वस्त्र की भी कामना आदि करते हैं.
गुड़ और नमक
श्राद्ध के समय गुड़ और नमक का दान जरुर करें इससे पितरों की आत्मा को शांति मिलती है और आपको उनका आर्शीर्वाद से आपके घर में सुख-शांति का वातावरण बना रहता है. ऐसा करने से गृह-क्लेश भी दूर है, ऐसे में श्राद्ध में इन चीजों का दान करें.
जूते-चप्पल का दान
पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए आप जूते चप्पलों का दन करें, ऐसा कपने से आपके पूर्वज खुश होते हैं. मान्यताओं के अनुसार ऐसा करने से घर में सुख-शांति और खुशहाली आती है और पितरों की आत्मा को शांति मिलती है.
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