Pakistan Economic Crisis पाकिस्तान में महंगाई दर लगातार बढ़ते जा रही है। हालात ऐसे है कि वहां महंगाई का 58 साल का रिकॉर्ड टूट चुका है। वहीं आम लोगों को इससे कभी मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है। (फाइल फोटो)
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नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। पड़ोसी देश पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति दिन-प्रतिदिन खराब होते जा रही है और इसका खामियाजा वहां की आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। पाकिस्तान में महंगाई इतनी बढ़ गई है कि 58 साल का रिकॉर्ड टूट गया है। इससे इस तरह के हालात पैदा हो गए हैं कि अब पाकिस्तान में कुछ भी सस्ता नहीं रह गया है। परिवहन, भोजन और गैर-मादक पेय, मादक पेय और तम्बाकू, मनोरंजन और संस्कृति- की लागत में लगभग 50 प्रतिशत की वृद्धि हो गई है। वहीं, बाकी श्रेणी में भी इसका असर देखने को मिल रहा है।
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लगातार बढ़ रही महंगाई
फरवरी में पाकिस्तान के इतिहास में कीमतें सबसे तेज गति से बढ़ीं। पाकिस्तान ब्यूरो ऑफ स्टैटिस्टिक्स ने कहा कि फरवरी में सालाना आधार पर मासिक मुद्रास्फीति बढ़कर 31.6% हो गई। आंकड़े बताते हैं कि खाद्य और परिवहन लागत ने मुद्रास्फीति को सबसे उच्चतम बिंदु तक पहुंचा दिया है। अब विश्लेषकों को डर है कि वहां परिवारों को बहुत सोच समझ कर अपने खर्चों का चुनाव करना होगा।
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जून से जनवरी तक आठ महीनों के लिए मुद्रास्फीति 20% से ऊपर रही। इसके बाद पिछले महीने यह 30% से अधिक हो गई। वहीं, पिछले साल फरवरी में मुद्रास्फीति 12.2% थी।
पाकिस्तानी रुपया हुआ कमजोर
Pakistan के मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अमेरिकी डॉलर के मुकाबले पाकिस्तानी रुपये में ऐतिहासिक गिरावट देखी गई है। दूसरी तरफ, पाकिस्तान में प्रति तोला सोने की कीमत में 4.77% की भारी वृद्धि हुई है। इस तरह सोने की कीमत (24) कैरेट) 9,400 रुपया प्रति तोला और 8,058 प्रति 10 ग्राम बढ़कर क्रमशः 206,500 रुपया और 177,040 रुपया हो गया है।
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नेशनल ट्रेड यूनियन फेडरेशन पाकिस्तान (NTUF) के महासचिव नासिर मंसूर ने आशंका जताई कि पाकिस्तान में लगभग 10 लाख अनौपचारिक श्रमिक बेरोजगार हो जाएंगे। इनमें से ज्यादातर श्रमिक कपड़ा क्षेत्र से संबंधित हैं। वहीं, पाकिस्तान के कपड़ा निर्यात में 14.8 प्रतिशत की गिरावट आई है।