एशियन डेवलपमेंट बैंक (ADB) ने कहा कि मध्यम अवधि के सुधार एजेंडे के लिए आईएमएफ के समर्थन से बाजार की धारणा में काफी सुधार होगा और अन्य स्रोतों से किफायती बाहरी वित्तपोषण को बढ़ावा मिलेगा. एडीबी ने यह भी कहा कि पाकिस्तान की प्रगति वित्तवर्ष 2024 में धीमी रहने और वित्तवर्ष 2025 में बढ़ने का अनुमान है.
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इस्लामाबाद. एशियाई विकास बैंक (ADB) ने माना की भारतीय अर्थव्यवस्था काफी मजबूत है और ये 7 प्रतिशत की दर से आगे बढ़ती रहेगी. वहींख् पाकिस्तान का आर्थिक परिदृश्य अनिश्चित बनी हुई है और इसमें गिरावट का जोखिम ज्यादा है. एडीबी ने कहा, “राजनीतिक अनिश्चितता जो व्यापक आर्थिक नीति-निर्माण को प्रभावित करती है, स्थिरीकरण और सुधार प्रयासों की स्थिरता के लिए एक प्रमुख जोखिम बनी रहेगी.”बाहरी मोर्चे पर मध्य पूर्व में संघर्ष बढ़ने से आपूर्ति श्रृंखला में संभावित व्यवधान से अर्थव्यवस्था पर असर पड़ेगा. पाकिस्तान की बड़ी बाहरी वित्तपोषण जरूरतों और कमजोर बाहरी बफर्स के साथ बहुपक्षीय और द्विपक्षीय भागीदारों से संवितरण महत्वपूर्ण बना हुआ है. हालांकि, एडीबी ने अपने दृष्टिकोण में कहा कि नीति कार्यान्वयन में खामियों के कारण ये प्रवाह बाधित हो सकता है.
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एडीबी ने कहा कि मध्यम अवधि के सुधार एजेंडे के लिए आईएमएफ के समर्थन से बाजार की धारणा में काफी सुधार होगा और अन्य स्रोतों से किफायती बाहरी वित्तपोषण को बढ़ावा मिलेगा. एडीबी ने यह भी कहा कि पाकिस्तान की प्रगति वित्तवर्ष 2024 में धीमी रहने और वित्तवर्ष 2025 में बढ़ने का अनुमान है, बशर्ते आर्थिक सुधार प्रभावी हों. वित्तवर्ष 2024 में वास्तविक सकल घरेलू उत्पाद में 1.9 प्रतिशत की वृद्धि होने का अनुमान है, जो सुधार उपायों पर प्रगति और एक नई व अधिक स्थिर सरकार में परिवर्तन से जुड़े निजी क्षेत्र के निवेश में उछाल से प्रेरित है.
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महंगाई 5 दशक के उच्चतम स्तर पर
पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था बाढ़, राजनीतिक अनिश्चितता और बाहरी समर्थन बाधित होने के कारण सिकुड़ गई. इस कारण सार्वजनिक निवेश में गिरावट आई और निजी निवेश व उद्योग सिकुड़ गए. एडीबी ने कहा कि आपूर्ति में व्यवधान और मुद्रा मूल्यह्रास के कारण खाद्य और ऊर्जा की कीमतों में वृद्धि के कारण मुद्रास्फीति पांच दशक के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई.