Tata Nifty India Tourism Index Fund : टाटा AMC का यह नया म्यूचुअल फंड निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स को ट्रैक करेगा. इस NFO में सब्सक्रिप्शन 8 जुलाई 2024 से खुला है और 19 जुलाई 2024 तक खुला रहेगा.
Tata Nifty India Tourism Index Fund : टाटा एसेट मैनेजमेंट कंपनी (Tata AMC) ने देश का पहला टूरिज्म इंडेक्स फंड लॉन्च किया है. ‘टाटा निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स फंड’ के नाम से लॉन्च यह फंड निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स (Nifty India Tourism Index) को ट्रैक करेगा. यह एक ओपन-एंडेड इंडेक्स फंड है, जिसे निवेशकों को यात्रा, पर्यटन और हॉस्पिटैलिटी बिजनेस में सबसे तेज़ी से बढ़ती हुई भारतीय कंपनियों में निवेश का मौका देने के लिए डिज़ाइन किया गया है. इस न्यू फंड ऑफर (NFO) में सब्सक्रिप्शन 8 जुलाई 2024 से खुला है और 19 जुलाई 2024 तक खुला रहेगा. यह एक इक्विटी आधारित स्कीम है और इक्विटी म्यूचुअल फंड में निवेश के साथ मार्केट रिस्क हमेशा जुड़ा रहता है.
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ट्रैवल टूरिज्म में तेज ग्रोथ का अनुमान
इंडेक्स फंड के लॉन्च के मौके पर, टाटा एसेट मैनेजमेंट के चीफ बिजनेस ऑफिसर आनंद वरदराजन ने कहा, “बढ़ी हुई डिस्पोजेबल आय और बेहतर हाईवे कनेक्टिविटी, रेल यात्रा की बढ़ती रफ्तार, बेहतर सुविधाओं और नए हवाई अड्डों जैसी बुनियादी सुविधाओं के विकास ने यात्रा को पहले से ज्यादा आसान, तेज और सुरक्षित बना दिया है. देश के भीतर हवाई यात्रा से जुड़ी सुविधाओं, होटलों और रेस्तरां का तेज़ी से विस्तार हो रहा है, जो पर्यटन क्षेत्र के लिए बहुत अच्छा संकेत है. तीर्थयात्रा से लेकर बिजनेस और मेडिकल ट्रैवल या वेकेशन तक, हर तरह की यात्राओं में इजाफा हो रहा है. इस माहौल में टूरिज्म को एक अलग सेगमेंट के तौर पर समझना और उसकी ग्रोथ में निवेश करके लाभ उठाना निवेशकों के लिए अहम हो गया है.” वरदराजन के मुताबिक भारत में ट्रैवल एंड टूरिज्म एक्सपेंडीचर 2030 तक बढ़कर 406 अरब डॉलर तक पहुंचने का अनुमान है, जो 2019 में महज 140 अरब डॉलर था.
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इंडेक्स फंड में 17 कंपनियां शामिल
टाटा निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स फंड में 21 जून 2024 तक 17 स्टॉक शामिल हैं. इंडेक्स में एक स्टॉक के लिए अधिकतम सीमा (maximum stock level capping limit) 20% है. निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स में इंडस्ट्री ऐसी चुनी हुई कंपनियां शामिल की जाती हैं, जो निफ्टी 500 में पहले से मौजूद हैं. इस इस इंडेक्स में इंडेक्स निफ्टी 500 के अधिकतम 30 स्टॉक शामिल किए जा सकते हैं. डायवर्सिफिकेशन और रिस्क मैनेजमेंट को ध्यान में रखते हुए, इंडेक्स में किसी शेयर का वेटेज उसके फ्री-फ्लोट मार्केट कैपिटलाइजेशन (free-float market capitalization) के आधार पर तय किया जाता है.
इंडेक्स फंड में स्टॉक्स के सेलेक्शन का आधार
इंडस्ट्री | इंडेक्स का वेटेज (21 जून 2024 को) |
होटल और रिसॉर्ट्स | 32% |
एयरलाइंस | 19% |
रेस्टोरेंट | 19% |
टूर,ट्रैवल से जुड़ी सेवाएँ | 16% |
एयरपोर्ट्स और एयरपोर्ट सर्विसेज | 10% |
लगेज | 3% |
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NFO से जुड़ी जरूरी बातें
स्कीम का नाम | टाटा निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स फंड |
NFO की अवधि | 8 जुलाई 2024 से 19 जुलाई 2024 |
स्कीम री-ओपनिंग | 29 जुलाई 2024 या उससे पहले |
निवेश का उद्देश्य | स्कीम का उद्देश्य निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स (TRI) के प्रदर्शन के अनुरूप रिटर्न देना है. हालांकि इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि स्कीम निवेश का उद्देश्य हासिल कर ही लेगी.यह स्कीम किसी भी रिटर्न का भरोसा या गारंटी नहीं देती. |
स्कीम टाइप | Open-ended scheme replicating / tracking Nifty India Tourism Index (TRI) |
फ़ंड मैनेजर | कपिल मेनन |
बेंचमार्क | Nifty India Tourism Index (TRI) |
NFO के दौरान मिनिमम एप्लीकेशन की रकम | रु. 5,000/- और उसके बाद रु. 1/- के मल्टीपल में |
लोड | एंट्री लोड: लागू नहीं (स्कीम में निवेशकों से कोई एंट्री लोड नहीं लिया जाएगा)एग्जिट लोड: आवंटन की तारीख से 15 दिन या उससे पहले एग्जिट करने पर NAV का 0.25%. |
भविष्य की संभावनाओं से भरा सेक्टर
टाटा निफ्टी इंडिया टूरिज्म इंडेक्स फंड की शुरुआत ऐसे समय में हुई है जब भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूत निवेश और कंजम्प्शन की वजह से काफी बेहतर स्थिति में नजर आ रही है. देश में तेजी से बढ़ते मिडिल क्लास की वजह से बेहतर अनुभव वाले आरामदेह ट्रैवल की डिमांड में इजाफा हुआ है. सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म की वजह से भी लोगों की यात्राएं करने की इच्छा को बढ़ावा दिया है. इसका असर ये हुआ है कि ट्रैवल एंड टूरिज्म से जुड़े बुनियादी ढांचे में निवेश को बढ़ावा मिला है और हवाई यात्रा के रूट्स की क्षमता बढ़ी है. टेक्नोलॉजी में हुई तरक्की के कारण ऑनलाइन रेस्तरां एग्रीगेटर्स की संख्या बढ़ी है और डिलीवरी की व्यवस्था में भी काफी सुधार हुआ है. इससे ट्रैवल और रेस्तरां के क्षेत्र में बड़ा बदलाव आया है.
(डिस्क्लेमर : इस लेख का मकसद सिर्फ जानकारी देना है, निवेश की सलाह देना नहीं. म्यूचुअल फंड में निवेश के साथ मार्केट रिस्क जुड़ा होता है, इसलिए निवेश का कोई भी फैसला स्कीम को अच्छी तरह समझने और अपने निवेश सलाहकार से सलाह लेने के बाद ही करें.)