Himachal Dengue Cases हिमाचल के रामपुर में डेंगू का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। अब तक 200 से ज्यादा लोग डेंगू से पीड़ित हो चुके हैं। निरमंड तहसील के जगातखाना और चाटी क्षेत्रों से भी मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं। डेंगू के लक्षणों में बुखार सिर दर्द शरीर दर्द पसीना आना चक्कर आना और जीभ का स्वाद खराब होना शामिल हैं।
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- रोजाना 20 से ज्यादा मामले अस्पताल में पहुंच रहे हैं
- बकरी के दुध, कीवी फल और नारियल की बढ़ी डिमांड
संजय भागड़ा, रामपुर। Himachal Dengue Cases: रामपुर में डेंगू का डंक अब सीमावर्ती क्षेत्रों में लोगों को लगने लगा है। रामपुर शहर में अब तक दो सौ से ज्यादा लोग डेंगू के कारण अस्पताल पहुंच गए हैं।
रोजाना 20 से ज्यादा मामले अस्पताल में पहुंच रहे हैं। रामपुर के साथ लगते निरमंड तहसील के क्षेत्र जगातखाना, चाटी से भी अस्पताल में मरीज आना शुरू हो गए हैं।
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डेंगू का प्रकोप बढ़ता जा रहा है और परिणामस्वरूप रामपुर आने से भी लोग इन दिनों कतराने लगे हैं। शहर में जरूरत का काम करने के लिए लोग पूरे बचाव के साथ आ-जारहे हैं। इसका असर शहर के व्यापार पर भी पड़ता नजर आ रहा है।
रामपुर के घरों में अब भी भारी संख्या में लोग डेंगू होने के बाद उपचार करवा रहे हैं और चिकित्सकों द्वारा दिये गए परामर्श के बाद स्वास्थ्य की देखभाल कर रहे हैं। शहर में कई व्यापारियों को डेंगू होने की वजह से कुछ लोग घरों में ही रह रहे हैं।
खनेरी अस्पताल में डेंगू का निशुल्क इलाज किये जाने के बाद अस्पताल में भी काफी मरीज एडमिट हुए हैं। हालांकि जिन लोगों में बुखार पर नियंत्रण हो रहा है, उन्हें घरों में रह कर दवा लेने की सलाह दी जा रही है। इसके अलावा शहर में व आसपास में रक्तदान सेवा परिवार सोसायटी व सत्यनारायण मंदिर ट्रस्ट की एम्बुलेंस भी मरीजों को अस्पताल पहुंचा रही हैं। प्राप्त सूचना के अनुसार रामपुर के अलावा प्रदेश से बाहर जाकर भी लोग इलाज करवाने जा रहे हैं।
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डेंगू के क्या हैं लक्षण
डेंगू के शुरुआती लक्षणों में बुखार, सिर दर्द, शरीर में दर्द, पसीना आना, चक्कर आना, जीभ का स्वाद खराब होना आदि शामिल हैं। ऐसा होने पर मरीज को चिकित्सक के पास जाना चाहिए और टेस्ट करवाने चाहिए। ऐसे मामलों में अधिकतर केस पॉजिटिव ही आ रहे हैं।
इसके अलावा मौसम में बदलाव होने के कारण वायरल होने के मामले भी अस्पताल में आ रहे हैं। लेकिन खनेरी अस्पताल में विशेषज्ञों द्वारा मरीजों की पूरी जांच पड़ताल कर रोग से सम्बंधित इलाज किया जा रहा है। चिकित्सकों के अनुसार डेंगू के लक्षण एक या दो दिन में नहीं दिखते और पांच से छह दिन बाद बुखार चढ़ने के लक्षण सामने आते हैं। ऐसे में तुरन्त चिकित्सक का परामर्श लेना जरूरी है।
बकरी के दूध, नारियल पानी, कीवी की बढ़ी मांग
प्लेटलेट्स कम होने पर बकरी का कच्चा दूध सुबह और शाम पीने से डेंगू मरीजों को जिनमें प्लेटलेट्स कम हुए हैं, उन्हें आराम आने की जानकारी मिल रही है। जिसके कारण आसपास के क्षेत्रों से लोग बकरी का दूध मंगवा कर मरीजों को दे रहे हैं और दूसरों की मदद भी कर रहे हैं।
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लेकिन स्वास्थ्य विभाग द्वारा ऐसा कोई दावा और परामर्श नहीं दिया गया है। इसके अलावा हरे नारियल के पानी और कीवी की मांग भी काफी बढ़ रही है। पपीते के पत्तों का रस, ताजा जूस, घर में हरी सब्जियों का सूप बना कर लोग घरों में दे रहे हैं। जानकारी के अनुसार लोगों को इस बीमारी में ज्यादा से ज्यादा लिक्विड पदार्थ लेने की सलाह भी दी जा रही है।
डेंगू के बाद मरीजों की स्थिति
डेंगू बुखार के बाद ठीक हो रहे मरीजों को जीभ में कड़वापन महसूस हो रहा है। इसके अलावा शरीर के कई हिस्सों में दर्द और थकावट महसूस हो रही है। जिसके कारण मरीज को सोने का मन करता है। मरीज को इस बीमारी से बाहर निकलने में सात से आठ दिनों का समय भी लग रहा है।