दीपावली से पहले सरकार ने प्याज की आपूर्ति बढ़ाकर इसे 35 रुपये प्रति किलो बेचने की योजना बनाई है. प्याज के भाव बढ़कर 75 रुपये प्रति किलो पर पहुंच गए हैं.
दीपावली के त्योहार से पहले, महंगे प्याज की कीमतें आम जनता के लिए चिंता का विषय बन गई थीं. पिछले कुछ हफ्तों में, दिल्ली में प्याज के दाम 75 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गए हैं, जिससे लोगों को खरीदने में परेशानी हो रही है. इस समस्या का समाधान करने के लिए, केंद्र सरकार ने ‘कांदा एक्सप्रेस’ ट्रेन शुरू की है.
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‘कांदा एक्सप्रेस’ की शुरूआत
‘कांदा एक्सप्रेस’ ट्रेन ने महाराष्ट्र के नासिक से 1,600 टन प्याज लाकर दिल्ली पहुंचाया है. इस ट्रेन में कुल 42 कोच हैं, और सभी कोच प्याज से भरे हुए हैं. यह ट्रेन दिल्ली के किशनगंज रेलवे स्टेशन पर पहुंची है, जहां से प्याज को थोक बाजारों में भेजा जाएगा.
प्याज की आपूर्ति बढ़ाने का प्रयास
सरकार का उद्देश्य है कि दीपावली से पहले प्याज की कीमतों को नियंत्रित किया जाए. इस ट्रेन के आने से दिल्ली में प्याज की दैनिक आपूर्ति 2,500 से 2,600 टन तक बढ़ जाएगी. इसके चलते प्याज की कीमतें भी कम होने की उम्मीद है. सरकार ने इस प्याज को रिटेल में 35 रुपये प्रति किलो की दर पर बेचने की योजना बनाई है.
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सरकार का भंडारण प्रयास
केंद्र सरकार ने इस वर्ष प्याज की कीमतों को स्थिर रखने के लिए 4.7 लाख टन प्याज खरीदा था. इसमें से लगभग 92,000 मीट्रिक टन प्याज नासिक और अन्य स्रोतों से ट्रकों के जरिए उपभोग केंद्रों तक भेजा जा चुका है. यह प्रयास प्याज की उपलब्धता को सुनिश्चित करेगा और कीमतों को नियंत्रित रखने में मदद करेगा.
रेलवे का बढ़ता महत्व
हाल ही में उपभोक्ता मामलों की सचिव निधि खरे ने बताया कि प्याज के परिवहन में रेलवे का महत्व बढ़ रहा है. सरकार ने और अधिक गंतव्यों को जोड़ने की योजना बनाई है, जिससे प्याज की आपूर्ति और तेज हो सके. आने वाले दिनों में लखनऊ और वाराणसी के लिए भी रेल रेक द्वारा प्याज का शिपमेंट किया जाएगा.
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बाजार में सकारात्मक बदलाव
सरकार के प्रयासों के कारण, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, महाराष्ट्र, ओडिशा, पंजाब, झारखंड और तेलंगाना जैसे प्रमुख राज्यों में प्याज की औसत खुदरा कीमतें हाल के दिनों में कम हुई हैं. यह सभी प्रयास आम जनता को दीपावली से पहले महंगी प्याज की समस्या से राहत दिलाने के लिए हैं.
सब्जियों की बढ़ती कीमतें: सितंबर में भारी वृद्धि
सरकारी आंकड़ों के अनुसार, सितंबर में सब्जियों की कीमतों में भारी बढ़ोतरी देखी गई है. प्याज की कीमतों में सालाना आधार पर 66.1% की वृद्धि हुई, जबकि आलू के दाम 65% और टमाटर के दाम 42.2% बढ़ गए हैं.
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अन्य सब्जियों पर असर
इसके अलावा, बैंगन, गाजर, पत्ता गोभी, फूलगोभी, मटर और पालक जैसी सब्जियों की कीमतें भी 20% से ज्यादा बढ़ चुकी हैं. इस महंगाई के बीच, प्याज की सस्ती दरों पर उपलब्धता लोगों को राहत देने का काम करेगी.
राहत की उम्मीद
सरकार की पहल से, सस्ती दरों पर प्याज उपलब्ध कराने से आम जनता को इस महंगाई में बड़ी राहत मिलेगी, जो त्योहारों के दौरान और भी महत्वपूर्ण है.