सरकार ने प्रदेश सहित अन्य राज्यों में स्नातकोत्तर (पीजी) कर रहे सूबे के चिकित्सकों को पूरा वेतन देने का निर्णय लेकर दिवाली से पहले बड़ा तोहफा दिया है।
हिमाचल प्रदेश सरकार ने प्रदेश सहित अन्य राज्यों में स्नातकोत्तर (पीजी) कर रहे सूबे के चिकित्सकों को पूरा वेतन देने का निर्णय लेकर दिवाली से पहले बड़ा तोहफा दिया है। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने पीजी कोर्स, सीनियर रेजिडेंसी (एसआर शिप) या डीएम स्तर की पढ़ाई करने वाले चिकित्सकों को अध्ययन अवकाश के दायरे से बाहर करने का निर्णय लिया है। इसके अलावा राज्य बिजली बोर्ड और परिवहन निगम कर्मियों को चार फीसदी महंगाई भत्ता (डीए) देने की अधिसूचना भी जारी कर दी है।
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इससे पहले, इसी साल अगस्त में सुक्खू कैबिनेट ने अध्ययन अवकाश पर जाने वाले चिकित्सकों का वेतन 40 फीसदी करने का निर्णय लिया था। अब मुख्यमंत्री ने फैसला पलटते हुए कहा कि प्रदेश में पीजी कर रहे चिकित्सकों को अपने कोर्स के दौरान पूरा वेतन मिलेगा। इससे हजारों चिकित्सकों को लाभ मिलेगा। सीएम ने जारी बयान में कहा कि चिकित्सक अपनी शैक्षणिक प्रतिबद्धताओं के साथ-साथ मरीजों की स्वास्थ्य देखभाल संबंधी जिम्मेदारियों का निर्वहन भी करते हैं।
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इससे मरीजों के लिए बेहतर स्वास्थ्य सुविधा सुनिश्चित होती हैं। सीएम ने चिकित्सा अधिकारियों के प्रतिनिधिमंडल के साथ हाल ही में हुई बैठक में इनसे संबंधित मामलों पर विचार कर निर्णय लेने का आश्वासन दिया था। हिमाचल मेडिकल ऑफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. राजेश राणा ने कहा कि सरकार के इस निर्णय से चिकित्सकों की बड़ी चिंता का समाधान हुआ है। उधर, राज्य बिजली बोर्ड और पथ परिवहन निगम के कर्मचारियों और पेंशनरों को चार फीसदी महंगाई भत्ता देने की अधिसूचना जारी हो गई है। सरकार के अन्य विभागों के कर्मचारियों की तर्ज पर बिजली बोर्ड और परिवहन कर्मियों को भी 28 अक्तूबर को जारी होने वाले वेतन और पेंशन के साथ महंगाई भत्ता भी दिया जाएगा।