TRAI की तरफ से स्कैम और फिशिंग को रोकने के लिए लगातार नए फैसले लिए जाते हैं। हाल ही में ट्राई ने नया फैसला लिया था। ओटीपी समेत कमर्शियल मैसेज के लिए नया ट्रेसेबिलिटी नियम लागू करने के लिए 1 दिसंबर तक का समय तय किया गया था। पहले इसकी आखिरी तारीख 1 नवंबर थी, लेकिन इसे एक महीने का एक्सटेंशन मिल गया था। इसके बाद नई तारीख 1 दिसंबर तय हो गई थी।
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क्यों लगाना चाहती है TRAI प्रतिबंध
कमर्शियल मैसेज पर लगाम लगाने के लिए भी ऐसा किया जा रहा था। बहुत सारे मैसेज में ओटीपी का एक्सेस हासिल कर लिया जाता है। इससे यूजर्स को काफी परेशानी होती थी। टेलीकॉम ऑपरेटर्स- एयरटेल, वोडाफोन, जियो ने मैसेज ब्लॉक करने में अपनी परेशानियों के बारे में बताया था। क्योंकि बहुत सारे टेलीमार्केटर इसके लिए तैयार नहीं थे। TRAI की तरफ से इस मामले को गंभीरता से लिया गया था। हालांकि अभी तक TRAI की तरफ से कोई नया मैसेज नहीं आया है।
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पहले भी बढ़ा दी गई थी तारीख
ऐसे में नया नियम जल्द से जल्द लागू किया जा सकता है। दूसरी बार ट्राई की तरफ से इस मामले में एक्सटेंशन दिया गया था। पहले इसकी तारीख 1 अक्टूबर तय की गई थी, लेकिन इसे 1 महीने के लिए बढ़ाकर 1 नवंबर कर दिया गया था। अब इसे एक और महीने के लिए बढ़ा दिया गया था और नई तारीख 1 दिसंबर हो गई थी। TRAI ने इन सभी को कंट्रोल करने के लिए तुरंत एक्शन लिया था। सख्ती से इसे लागू करने के लिए कहा गया था।
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TRAI ने दिया नया आदेश
हाल ही में TRAI की तरफ से सभी टेलीकॉम ऑपरेटर्स को नया आदेश दिया गया है। इसमें कहा गया है कि वह नेटवर्क की उपलब्धता से संबंधित सभी जानकारी को वेबसाइट पर पब्लिश करें। खास बात है कि ये सभी जानकारी Map की मदद से भी उपलब्ध होनी चाहिए। यानी मैप देखकर ही यूजर्स को समझने में आसानी होगी कि कहां पर नेटवर्क उपलब्ध है या नहीं।