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आपको घर बैठे खाना खिलाने वाली कंपनी जोमैटो, सरकार के खा गई 803 करोड़! अब शुरू हुई वसूली

Zomato Gst Notice : ऑनलाइन फूड डिलीवरी मंच जोमैटो को सरकार ने 803 करोड़ रुपये का जीएसटी डिमांड नोटिस भेजा है. यह बकाया राशि 2019 से 2022 के बीच की है और थाणे जिले की जीएसटी अथॉरिटी ने डिमांड नोटिस भेजा है.

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नई दिल्‍ली. आपको घर बैठे खाना खाने की इच्‍छा होने पर सिर्फ एक ही नाम याद आता है जोमैटो. बस मोबाइल उठाया और जोमैटो ऐप खोलकर अपनी मनपसंद डिश मनपसंद जगह से मंगा लेते हैं. लेकिन, जोमैटो को लेकर सरकार ने एक खुलासा किया है. सरकार ने कहा है कि जोमैटो ने 803 करोड़ रुपये की टैक्‍स चोरी की है और अब उसे वसूली के लिए नोटिस भेजा गया है. दूसरी ओर, जोमैटो ने इन आरोपों से इनकार किया और कहा है कि वह इससे बचने के लिए कानूनी सहारा लेगी.

ऑनलाइन ऑर्डर पर खाने-पीने का सामान पहुंचाने वाले मंच जोमैटो ने शेयर बाजार को दी सूचना में बताया है क‍ि महाराष्‍ट्र के ठाणे जिले में माल एवं सेवा कर (जीएसटी) विभाग ने उसे 803.4 करोड़ रुपये का टैक्‍स डिमांड मांग नोटिस भेजा है. इसमें ब्याज और जुर्माना भी शामिल है. कंपीन का कहना है कि डिलिवरी शुल्क पर ब्याज और जुर्माना के साथ जीएसटी का भुगतान न करने के संबंध में उसे नोटिस मिला है.

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कितना बकाया कितना जुर्माना
जोमैटो ने कहा, ‘कंपनी को 12 दिसंबर, 2024 को एक आदेश प्राप्त हुआ है. यह आदेश 29 अक्टूबर, 2019 से 31 मार्च, 2022 की अवधि के लिए सीजीएसटी और केंद्रीय उत्पाद शुल्क, ठाणे आयुक्तालय, महाराष्ट्र के संयुक्त आयुक्त द्वारा पारित किया गया है. इसमें लागू ब्याज के साथ 401,70,14,706 रुपये के जीएसटी की मांग और 401,70,14,706 रुपये के जुर्माने की पुष्टि की गई है.’

कंपनी करेगी विरोध
कंपनी ने कहा कि वह उचित प्राधिकारी के समक्ष अपील दायर करेगी, क्योंकि उसका मानना ​​है कि उसका मामला मजबूत है. कंपनी के अनुसार, ‘हमारा मानना ​​है कि हमारे पास मजबूत मामला है, जो हमारे बाहरी कानूनी और कर सलाहकारों की राय से समर्थित है. कंपनी उचित प्राधिकारी के समक्ष आदेश के खिलाफ अपील दायर करेगी और इस टैक्‍स को देने से राहत की मांग करेगी.

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क्‍यों जारी होता है जीएसटी नोटिस
कंपनियों को हर सर्विस और प्रोडक्‍ट पर टैक्‍स चुकाना होता है, जिसे जीएसटी कहते हैं. कभी-कभार कुछ कंपनियां इस जीएसटी का समय पर भुगतान नहीं करती हैं. तब जीएसटी अथॉरिटी उस पर जुर्माना और ब्‍याज दोनों लगाता है. जुर्माना भुगतान न करने पर लगता है और ब्‍याज जीएसटी की राशि पर लगाया जाता है. ऐसा ही जोमैटो के साथ हुआ और कुल मिलाकर 803 करोड़ रुपये का नोटिस भेजा गया है.

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