मुंद्रा बंदरगाह पर पकड़े गए साढ़े तीन हजार करोड़ के ड्रग्स मामले में एफएसएल की टीम को जांच के लिए बुलाया गया। टेलकम पाउडर की आड़ में इस बंदरगाह पर 18 बैग में कई टन हीरोइन को लाया गया था। नारकोटिक्स विभाग, गुजरात पुलिस एवं मरीन पुलिस इस मामले को देख रही है गत दिनों मुंद्रा पोर्ट पर इनके हाथ मादक पदार्थ का बहुत बड़ा जखीरा हाथ लगा था।
गुजरात पुलिस अब तक मादक पदार्थों की हेराफेरी के मामले में बीते कुछ दिनों में 37 ड्रग माफियाओं की धरपकड़ की है यह ड्रग माफिया करीब 81 करोड़ के ड्रग्स की हेराफेरी करते पकड़े गए। गुजरात में राज्य सरकार के निर्देश पर मादक पदार्थों की तस्करी एवं नशे के कारोबार के खिलाफ बड़े पैमाने पर अभियान चलाया जा रहा है।
गुजरात की सोलह सौ किमी लंबी कोस्टल लाइन मादक पदार्थों का अवैध व्यापार करने वालों के लिए गोल्डन कॉरिडोर बना हुआ है। गत दिनों मुंद्रा पोर्ट पर भारी पैमाने पर हेरोइन का जखीरा पकड़ा गया जांच में पता चला है कि इस हेराफेरी व तस्करी में कई बड़े नाम शामिल हैं। इसकी जांच के लिए फॉरेंसिक साइंस लैबोरेट्री के विशेषज्ञों को बंदरगाह पर बुलाया गया है उधर बताया गया है कि पकड़े गए मादक पदार्थों की कीमत करीब 3500 करोड़ रुपया है।
गुजरात में कोकीन, हीरोइन, चरस, अफीम, गांजा व एमडी ड्रग्स की हेराफेरी के मामलों में पिछले कुछ दिनों में 37 ड्रग माफियाओं की धरपकड़ की गई। पुलिस व आबकारी विभाग ने इनके पास से 81 करोड़ के मादक पदार्थ जप्त किए। इनमें से सबसे अधिक चरस के 4 केस के अंतर्गत 14 लोगों की धरपकड़ की गई गांजा मामले में 8 व एमडी ड्रग्स के मामले में 4 लोगों को गिरफ्तार किया गया।