LIC IPO: 13 फरवरी को सरकार ने सेबी में इश्यू के लिए डीआरएचपी दाखिल किया है. रिपोर्ट में मर्चेंट बैंकिंग सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि सरकार आईपीओ से 63,000 करोड़ रुपये (करीब 8 अरब डॉलर) जुटाने की उम्मीद कर रही है. इस आईपीओ में एलआईसी पॉलिसी होल्डर्स भी निवेश निवेश कर सकते हैं क्योंकि इसका 10 फीसदी हिस्सा उनके लिए रिजर्व होगा. आइए जनते हैं इससे जुड़ी बातें.
- एलआईसी के आईपीओ का जोर-शोर से इंतजार है
- एलआईसी का मालिकाना हक सरकार के पास है
- एलआईसी का टैक्स बाद प्रॉफिट 1,437 करोड़ रुपये रहा
नई दिल्ली: LIC IPO: शेयर बाजार में आजकल आईपीओ ने जम कर पकड़ बनाई है. रूस-यूक्रेन विवाद के बीच एलआईसी आईपीओ को लेकर भी लोगों में संदेह है, लेकिन सरकार ने इस पर अपना रुख साफ कर दिया है. एलआईसी आईपीओ के लिए बाजार नियामक सेबी के पार दस्तावेज भी जमा कराए जा चुके हैं. अगर आप भी एलआईसी के आईपीओ का इंतजार कर रहे हैं तो यह जल्द खत्म होने वाला है. देश के सबसे बड़े आईपीओ के 10 मार्च को खुलने की उम्मीद की जा रही है.
रविवार 13 फरवरी को सरकार ने सेबी में इश्यू के लिए डीआरएचपी दाखिल किया है. रिपोर्ट में मर्चेंट बैंकिंग सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि सरकार आईपीओ से 63,000 करोड़ रुपये (करीब 8 अरब डॉलर) जुटाने की उम्मीद कर रही है. इस आईपीओ में एलआईसी पॉलिसी होल्डर्स भी निवेश निवेश कर सकते हैं क्योंकि इसका 10 फीसदी हिस्सा उनके लिए रिजर्व होगा. यानी पॉलिसी होल्डर्स को इसमें शेयर मिलने की संभावना बढ़ जाएगी. इसके अलावा भी उन्हें डिस्काउंट मिल सकता है.
2100 रुपये तक हो सकता है बेस प्राइज
सरकार की तरफ से एलआईसी के आईपीओ के खुलने पर अभी कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया गया है. सूत्रों से मिल रही जानकारी के अनुसार कंपनी का इश्यू प्राइस 2000-2100 रुपये के बीच सकता है. रविवार को सेबी (SEBI) के पास सब्मिट किए गए ड्रॉफ्ट के अनुसार LIC के इश्यू का साइज 63,000 करोड़ रुपये तक हो सकता है.
अगर आप भी एलआईसी आईपीओ में निवेश करना चाहते हैं तो उसके लिए पहले कुछ दस्तावेज तैयार रखें. एलआईसी आईपीओ में निवेश करने के लिए सबसे पहले आपके पास एलआईसी पॉलिसी खाते से जुड़ा पैन और डीमैट अकाउंट होना जरूरी है. यानी आपको जल्द से जल्द इन दोनों को कामों को निपटाना जरूरी है.
10 स्टेप में करें पैन डिटेल अपडेट
– इसके लिए स पहले एलआईसी की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं.
– अब होमपेज पर ‘Online PAN Registration’ विकल्प चुनें.
– अब रजिस्ट्रेशन पेज पर ‘Proceed’ पर क्लिक करें.
– नए पेज पर पैन, ईमेल, मोबाइल नंबर और पॉलिसी नंबर सही-सही भरें.
– इसके बार कैप्चा कोड को सही ढंग से दर्ज करें.
– अब ओटीपी रिक्वेस्ट पर क्लिक करें.
– आपके रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर एक ओटीपी आएगा.
– अब ओटीपी डालें और सब्मिट कर दें.
– इसके बाद आपको रजिस्ट्रेशन सफल होने का मैसेज मिल जाएगा.
– एक बार फिर जन्म तिथि, पॉलिसी-पैन नंबर से स्टेटस चेक कर लें.
पॉलिसी धारकों-कर्मचारियों का हिस्सा रिजर्व
लंबे इंतजार के बाद, आईपीओ ने यह साफ कर दिया है कि इसमें एलआईसी पॉलिसी धारकों और कंपनी के कर्मचारियों के लिए हिस्सा रिजर्व रखा गया है. दोनों को एलआईसी का इश्यू छूट पर दिया जाएगा. रिपोर्ट के अनुसार, सेबी में जमा मसौदा दस्तावेज के मुताबिक, इश्यू का 10 फीसदी हिस्सा पॉलिसी धारकों के लिए रिजर्व किया गया है. यानी अगर आपकी एलआईसी की पॉलिसी लैप्स हो चुकी है तो भी आप रिजर्व कोटे में बोली लगा सकते हैं. इसके अलावा, एलआईसी कर्मचारियों के लिए 5 फीसदी हिस्सा रिजर्व होगा.
देश की सबसे बड़ी बीमा कंपनी
गौरतलब है कि एलआईसी का बाजार बहुत मजबूत है. इसकी बाजार हिस्सेदारी 64.1 फीसदी है. क्रिसिल की एक रिपोर्ट के मुताबिक, यह देश की सबसे बड़ी जीवन बीमा कंपनी है. इसका रिटर्न ऑन इक्विटी भी सबसे ज्यादा 82 फीसदी है. इस रिपोर्ट के अनुसार, लाइफ इंश्योरेंस प्रीमियम के मामले में यह दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी बीमा कंपनी है. 64 फीसदी बाजार हिस्सेदारी वाली यह दुनिया की सबसे बड़ी बीमा कंपनी है.
जबरदस्त मुनाफा और ग्रोथ
अब बात करते हैं मुनाफे और ग्रोथ की. एलआईसी के प्रॉफिट पर ध्यान दें तो वित्त वर्ष 2021-22 की पहली छमाही में एलआईसी का टैक्स बाद प्रॉफिट 1,437 करोड़ रुपये रहा. एक साल पहले इसी अवधि में एलआईसी का प्रॉफिट 6.14 करोड़ रुपये था. इस वित्त वर्ष की पहली छमाही में एलआईसी के न्यू बिजनेस प्रीमियम का ग्रोथ रेट 554.1 फीसदी रहा. इटन ही नहीं इस मेगा आईपीओ का इंतजार लोगों को बहुत तेजी से है क्योंकि टोटल एसेट के मामले में 522 अरब डॉलर के साथ यह दुनिया की छठी सबसे बड़ी बीमा कंपनी है.
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LIC का इतिहास
अब नजर डालते हैं एलआईसी के इतिहास पर. एलआईसी की स्थापना 1956 में हुई है. 1956 में 245 बीमा कंपनियों और प्रोविडेंट सोसायटी को मिलाकर LIC को बनाया गया. 5 करोड़ की पूंजी निवेश करके भारतीय सरकार के साथ एलआईसी ऐक्ट, 1956 की स्थापना की गई. LIC इकलौती सरकारी लाइफ इंश्योरेंस कंपनी है,और इसमें सरकार की 100% हिस्सेदारी है. एलआईसी का बाजार इतना मजबूत है कि अभी 30 करोड़ पॉलिसी होल्डर्स उसके पास हैं. देश में गांव–गांव तक LIC की पहुंच है. एलआईसी में 12 लाख से ज्यादा एजेंट्स हैं. एलआईसी का स्लोगन ‘योगक्षेमम् वहाम्यहम’ है. एलआईसी में करीब 1.25 लाख कर्मचारी हैं.