UPI Goes Global: देशभर में ऑनलाइन पेमेंट सर्विस में क्रांति लाने वाला UPI यानी यूनिफाइड पेमेंट अब ग्लोबल हो गया है. मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सिंगापुर के सिंगापुर के प्रधानमंत्री ली हेसिन लूंग के साथ मिलकर सिंगापुर और भारत के बीच यूपीआई की क्रॉसबॉर्डर कनेक्टिविटी सर्विस लॉन्च कर दी है. UPI को सिंगापुर की पेमेंट सर्विस PayNow के साथ लिंक किया गया है. पीएम मोदी ने कहा कि UPI-PayNow लिंकेज दोनों देशों के नागरिकों के लिए तोहफा है, जिसका उन्हें बेसब्री से इंतजार था. मैं इसके लिए भारत और सिंगापुर दोनों देशों को बधाई देता हूं.
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PM Modi ने लॉन्चिंग के मौके पर कहा, “आज के समय में तकनीक हमें कई तरीकों से आपस में जोड़ती है. फिनटेक ऐसा सेक्टर है, जो हमें आपस में जोड़ता है. आमतौर पर यह एक देश के भीतर ही सीमित रह जाता है, लेकिन आज की इस लॉन्चिंग के साथ क्रॉस-बॉर्डर फिनटेक कनेक्टिविटी का नया अध्याय शुरू हो रहा है.” उन्होंने कहा कि “डिजिटल इंडिया प्रोग्राम के चलते गवर्नेंस और पब्लिक सर्विस की डिलीवरी में अभूतपूर्व बदलाव किए हैं. यह भारत के डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर की मजबूती का ही सबूत है कि COVID के दौरान हम करोड़ों लोगों के बैंक अकाउंट में डायरेक्ट पैसे भेजने में सफल रहे थे.”
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सिंगापुर और भारत के बीच ऑनलाइन पेमेंट की मिलेगी सुविधा (UPI-PayNow Service)
प्रधानमंत्री कार्यालय ने सोमवार को एक बयान जारी कर कहा था कि इन दो पेमेंट सिस्टम के लिंकेज से दोनों देशों के निवासियों को फास्ट क्रॉस बॉर्डर और कॉस्ट इफेक्टिव ट्रांसफर में मदद मिलेगी. यह सिंगापुर में भारतीय प्रवासियों, विशेष रूप से प्रवासी श्रमिकों और छात्रों को सिंगापुर से भारत में पैसे की इमरजेंसी जरूरत और लो कॉस्ट मनी ट्रांसफर में मदद करेगा.
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RBI ने शुरू की है G-20 देशों के यात्रियों के लिए पहले
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने G-20 देशों के यात्रियों को भारत में रहने के दौरान मोबाइल आधारित यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) का उपयोग करने की परमिशन देने संबंधी सर्कुलर पिछले हफ्ते जारी किया था. यूपीआई एक पेमेंट प्लेटफॉर्म है जहां पर हम एक मोबाइल ऐप में एक साथ कई बैंक अकाउंट को इंटीग्रेट यानी लिंक कर सकते हैं और उसके माध्यम से कहीं से भी कभी भी अपने बैंक खाते से दूसरे बैंक खाते में पैसा भेज और मंगा सकते हैं. आरबीआई ने विदेशी नागरिकों और भारत आने वाले प्रवासी भारतीयों (NRIs) को इसके उपयोग की अनुमति दे दी है. फिलहाल, इस सुविधा की शुरुआत चुनिंदा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर आने वाले जी-20 देशों के यात्रियों से होगी. बाद में यह सुविधा देश में सभी एंट्री पॉइंट्स पर मिलेगी. अगर यूपीआई ट्रांजैक्शन में बढ़ोतरी की बात करें तो इसके जरिए भुगतान जनवरी में मंथ ऑन मंथ बेसिस पर 1.3% बढ़कर करीब 13 लाख करोड़ रुपये रहा है.