Rahul Gandhi Disqualified: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने दावा किया है कि राहुल गांधी को लालू प्रसाद यादव का श्राप लगा है. उन्होंने इसकी वजह भी बताई है.
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Rahul Gandhi Disqualified: कांग्रेस नेता राहुल गांधी को दो साल की सजा होने के बाद लोकसभा से सदस्यता खत्म हो गई है. इस मामले को लेकर कांग्रेस जहां बीजेपी और मोदी सरकार को घेर रही है वहीं, भाजपा भी हमलवार है. केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने दावा किया है कि राहुल गांधी को लालू प्रसाद यादव का श्राप लगा है. जब चारा घोटाले में आदेश आया था और लालू प्रसाद की सदस्यता जाने वाली थी. उस समय राहुल गांधी उनसे नहीं मिलते थे. राहुल गांधी ने तब ऐसे मामले में अपील के प्रावधान से संबंधित अध्यादेश को फाड़ दिया था. लालू यादव ने उस समय राहुल गांधी को श्राप दिया था.
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बता दें कि सजा पाने के बाद संसद सदस्यता खाने वाले लालू यादव पहले राजनेता थे. चारा घोटाले में सजा पाने के बाद उनकी लोकसभा से सदस्यता खत्म हो गई थी. उस समय केंद्र में कांग्रेस की सरकार थी.
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कांग्रेस बीजेपी पर हमलावर
राहुल गांधी को गुजरात की अदालत द्वारा वर्ष 2019 के ‘मोदी सरनेम’ मानहानि मामले में दोषी करार दिए जाने और उन्हें दो वर्ष कैद की सजा सुनाए जाने की वजह से लोकसभा सचिवालय ने यह फैसला लिया और अब उनकी संसद की सदस्यता खत्म हो गई है. कांग्रेस ने राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता रद्द किए जाने को उन्हें चुप करने की साजिश करार दिया है. कांग्रेस अध्यक्ष मलिकार्जुन खड्गे राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता रद्द किए जाने पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, उन्होंने (भाजपा) उन्हें अयोग्य ठहराने के सभी तरीके आजमाए. जो सच बोल रहे हैं उन्हें वो रखना नहीं चाहते, लेकिन हम सच बोलते रहेंगे. हम जेपीसी की मांग जारी रखेंगे, अगर जरूरत पड़ी तो हम लोकतंत्र को बचाने के लिए जेल जाएंगे.
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बीजेपी ने कांग्रेस को घेरा
वहीं, केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने राहुल गांधी पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा, भगवान के घर देर है पर अंधेर नहीं. राहुल गांधी खुद कह रहे थे की वो दुर्भाग्यवश सांसद हैं. आज उनको उस दुर्भाग्य से मुक्ति मिल गयी है. उनके साथ-साथ वायनाड के लोगों को भी छुटकारा मिल गया. अनुराग ठाकुर के मुताबिक, “राहुल गांधी इतने लम्बे समय तक लोकसभा सदस्य रहे पर अमेठी के लिए कभी कोई प्रश्न नहीं पूछा. इतने वर्षों में मात्र 21 डिबेट्स में भाग लिया. एक भी प्राइवेट मेंबर बिल लाना तो दूर, अपने ही सरकार द्वारा लाये गए आर्डिनेंस को नॉन सेंस बोलकर फाड़ने का काम राहुल गांधी ने किया. राहुल गांधी ने हमेशा खुद को सदन, सरकार, न्याय व्यवस्था व देश से ऊपर समझा.
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2018 में राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट में लिखित माफी मांगी थी. कोर्ट ने भविष्य में ऐसी गलती करने से चेताया था, परन्तु 2019 में एक नहीं बल्कि कई बार उन्होंने अभद्र भाषा, झूठे आरोप व अपमानजनक बातें बोलीं. सभी चोर मोदी हैं, किसी को भी किसी की हत्या से जोड़ देना, कुछ भी कह देना और सोचना की उन्हें देश में कुछ हो ही नहीं सकता, क्योंकि वो देश के ऊपर हैं, ये राहुल गांधी की सोच बन चुकी थी. अनुराग ठाकुर बोले कि, “लिली थॉमस केस में सुप्रीम कोर्ट के जजमेंट के बाद बिलकुल स्पष्ट है की 2 वर्षों में दोष सिद्ध होने के बाद उसपर रोक नहीं लगी तो आप ससपेंड माने ही जाते हैं. लोकसभा ने तो इसकी पुष्टि मात्र की है. लोकसभा के स्पीकर को इसमें कुछ करने की जरूरत ही नहीं.
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अयोग्यता पर विशेषज्ञों ने कहा- राहुल सजा पर रोक लगवाएं
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को सूरत की एक अदालत द्वारा दोषी ठहराए जाने के बाद, लोकसभा सचिवालय ने केरल के वायनाड निर्वाचन क्षेत्र से सदस्य के रूप में उनकी अयोग्यता की घोषणा के बाद अजीबोगरीब स्थिति का सामना कर रहे हैं- पहला, अयोग्यता, जो 2013 में लिली थॉमस मामले में शीर्ष अदालत के फैसले के अनुसार प्रभावी हुई है और दूसरा, उनकी सजा पर रोक कैसे लोकसभा सचिवालय की अधिसूचना को रद्द कर देगी. विशेषज्ञों के अनुसार, गांधी को आईपीसी की धारा 499 और 500 के तहत दोषी ठहराए जाने के ट्रायल कोर्ट के आदेश को चुनौती देनी चाहिए, जिसमें अधिकतम दो साल की सजा हो सकती है और लोकसभा से उनकी अयोग्यता से संबंधित अधिसूचना को भी चुनौती देनी चाहिए.