गांधीनगर: गुजरात सरकार ने सोमवार को विधानसभा में न्यूनतम मजदूरी बढ़ाने (Minimum wages hike) का ऐलान किया। कुशल (Skilled), अर्ध-कुशल (Semi-skilled) और अकुशल (Unskilled) मजदूरों को दी जाने वाली न्यूनतम मजदूरी (minimum wages) में करीब 25 प्रतिशत की वृद्धि की गई। यानी 2400 रुपए प्रति माह से अधिक की बढ़ोतरी की गई है। नौ साल बाद न्यूनतम मजदूरी में बढ़ोतरी की गई है।
Minimum wages hike से 2 करोड़ लोगों को होगा फायदा
गुजरात के श्रम और रोजगार मंत्री बलवंतसिंह राजपूत (Balwantsinh Rajput) ने विधानसभा में न्यूनतम मजदूरी में वृद्धि की घोषणा की। जो 15 दिनों के भीतर अधिसूचना जारी होने के बाद प्रभावी हो जाएगी। उन्होंने कहा कि 2014 में राज्य में मजदूरों के लिए मौजूदा भुगतान संरचना लागू हो गई है। राजपूत ने कहा कि यह पहली बार है जब गुजरात सरकार ने न्यूनतम मजदूरी में 25 प्रतिशत की बढ़ोतरी की है। एक या दो सप्ताह के भीतर इस संबंध में एक अधिसूचना जारी होने के बाद नया वेतन प्रभावी होगा। नए वेतन ढांचे से लोग प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से करीब 2 करोड़ लाभान्वित होंगे।
कुशल मजदूरों (Skilled) के लिए न्यूनतम मजदूरी
उन्होंने कहा कि कुशल मजदूर के लिए न्यूनतम मजदूरी अधिनियम 1948 में सूचीबद्ध 46 विभिन्न प्रकार के व्यवसायों में नगर निगमों, नगर पालिकाओं और शहरी विकास प्राधिकरणों के अधिकार क्षेत्र में काम करने वाले कुशल श्रमिकों के लिए, सरकार ने न्यूनतम मासिक वेतन 9,887.80 रुपए से बढ़ाकर 12,324 रुपए कर दिया है। यह बढ़ोतरी 2436.20, या 24.63 प्रतिशत है।
ये भी पढ़ें– BoB FDs rates 2023: ग्राहकों को ज्यादा फायदा, ₹5 लाख जमा पर 5 साल में सिर्फ ब्याज से ₹2.12 लाख कमाई
अर्ध-कुशल मजूदरों (Semi-skilled) के लिए न्यूनतम मजदूरी
अर्ध-कुशल मजदूरों के लिए गुजरात सरकार ने न्यूनतम मासिक वेतन 9,653.80 रुपए से बढ़ाकर 11,986 रुपए कर दिया है, जो 2,332.20 रुपए या 24.15 प्रतिशत है।
अकुशल मजदूरों (Unskilled labourers) के लिए न्यूनतम मजदूरी
मंत्री ने कहा कि अकुशल श्रमिकों के लिए, मासिक वेतन 9,445.80 रुपये से बढ़ाकर 11,752 रुपये कर दिया गया है, जो 24.41 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है।
जबकि मंत्री ने कहा कि नगर निगमों, नगर पालिकाओं और शहरी विकास प्राधिकरणों के अधिकार क्षेत्र के बाहर काम करने वाले कुशल मजदूरों के लिए, राज्य सरकार ने न्यूनतम मासिक वेतन 9,653.80 रुपये से बढ़ाकर 12,012 रुपये कर दिया है, जो 2,358.20 रुपये या 24.42 प्रतिशत है।
ये भी पढ़ें– मौत के बाद आधार, PAN, DL, Passport का क्या होता है? इसे सरेंडर करना चाहिए या नहीं, नॉमिनी पर क्या असर?
राजपूत ने कहा कि इस श्रेणी के श्रमिकों (नगर निगमों, नगर पालिकाओं और शहरी विकास प्राधिकरणों के अधिकार क्षेत्र के बाहर) के अर्ध-कुशल श्रमिकों के लिए न्यूनतम मासिक वेतन 9,445.80 रुपए से बढ़ाकर 11,752 रुपए कर दिया गया है जबकि अकुशल श्रमिकों के लिए न्यूनतम मजदूरी बढ़ाकर 9,237.80 से 11,466 रुपए कर दिया गया है।
गन्ना मजदूरों की न्यूनतम मजदूरी दोगुना
इसके अलावा राज्य सरकार ने गन्ना काटने और लोड करने की गतिविधि से जुड़े मजदूरों को दी जाने वाली न्यूनतम मजदूरी को दोगुना करने का फैसला किया है। मंत्री ने कहा कि उनका वेतन 238 रुपये प्रति टन से बढ़ाकर 476 रुपये प्रति टन कर दिया गया है।
ये भी पढ़ें– ध्यान दें! PPF, SSY में 31 मार्च के पहले जरूर करा लें ये काम, वर्ना इनएक्टिव हो जाएगा अकाउंट
मंत्री ने कहा कि नई वेतन संरचना को परिवार में सदस्यों की संख्या, भोजन की लागत, कपड़े, घर का किराया, बिजली की लागत, शिक्षा और स्वास्थ्य देखभाल व्यय जैसे विभिन्न मानकों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है।
राज्य सरकार ने पिछले साल मई में विभिन्न हितधारकों से सुझाव और आपत्तियां आमंत्रित करते हुए एक अधिसूचना जारी कर न्यूनतम मासिक वेतन की समीक्षा की प्रक्रिया शुरू की थी। इसने इन सुझावों और आपत्तियों का विश्लेषण करने और सरकार को सिफारिशें करने के लिए एक गुजरात राज्य न्यूनतम मजदूरी सलाहकार बोर्ड’ भी नियुक्त किया गया था। बोर्ड के परामर्श से राज्य सरकार ने न्यूनतम मजदूरी को संशोधित करने का फैसला लिया।