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Pension Fund: SCSS से POMIS तक, इन 7 फंड में निवेश से रिटायरमेंट के बाद भी मिलेगी रेगुलर पेंशन

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Retirement Planning: पेंशन फंड में निवेश करने पर इनकम टैक्स की धारा 80C के तहत टैक्स बेनिफिट मिलता है. इसमें निवेशक अपने टैक्सेबल इनकम पर 1.5 लाख रुपये तक टैक्स में छूट के लिए क्लेम कर सकते हैं.

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SCSS to POMIS, 7 Investment Options for Regular Pension after Retirement: पेंशन फंड एक लंबी अवधि का निवेश है. इस फंड का मकसद भविष्य में रोजमर्रा की जरूरतों को पूरा करने के लिए लाइफ में कैश फ्लो बनाए रखना है. रिटायरमेंट के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग कर रहे निवेशकों के पास लंबी अवधि के निवेश के लिए इस तरह के फंड का होना जरूरी है. पेंशन फंड लाइफ में रेगुलर इनकम बनाए रखने के लिए पेंशन फंड में निवेश एक अच्छी पहल साबित हो सकती है, खासकर उनके लिए जो रिटायरमेंट के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग कर रहे हैं.

पेंशन फंड में निवेश करने के कई फायदे हैं. यह फंड इनकम टैक्स की धारा 80C के तहत टैक्स बेनिफिट देता हैं. इस फंड में पैसा लगाने वाले निवेशकों को टैक्सेबल इनकम पर 1.5 लाख रुपये तक टैक्स में छूट क्लेम करने का विकल्प होता है. पेंशन फंड से रिटायरमेंट के बाद एन्युटी के रूप में एक स्थिर इनकम मिलती है जो रिटायरमेंट के बाद रोजमर्रा की जरूरतो को पूरा करने में मददगार साबित होती है. इसके अलावा पेंशन फंड में निवेश रिटायरमेंट के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग कर रहे निवेशकों के लिए सेविंग करने की एक अनुशासित जरिया बन जाती है. दरअसल पेंशन फंड में निवेशकों को नियमित योगदान करने की जरूरत पड़ती है. मौजूदा समय के निवेशकों के पास पेंशन फंड में निवेश के कई विकल्प हैं जिन पर विचार कर सकते हैं. यहां पेंशन फंड के तमाम विकल्पों के बारे में जानकारी दी गई है.

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नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS)

यह सरकारी पेंशन स्कीम है. नेशनल पेंशन सिस्टम यानी एनपीएस को पेंशन फंड रेगुलेटरी एड डेवलेपमेंट अथॉरिटी (PFRDA) द्वारा रेगुलेट किया जाता है. एनपीएस में 2 एकाउंट- टियर 1 और टियर 2 का विकल्प होता है. NPS टियर 1 सभी सरकारी कर्मचारियों के लिए एक अनिवार्य एकाउंट है और यह एकाउंट बाकी लोगों के लिए भी ओपन है. NPS टियर 2 एक स्वैच्छिक एकाउंट है. इसमें निवेशकों के पास किसी भी समय अपना पैसा निकालने की विकल्प होता है.

अटल पेंशन योजना (APY)

अटल पेंशन योजना भी एक सरकारी स्कीम है. इस स्कीम का मकसद असंगठित क्षेत्र में काम कर रहे लोगों को एक सामाजिक सुरक्षा देना है. इस योजना में निवेश करके निवेशक 60 साल की आयु के बाद अपनी निवेश प्लान के आधार पर निश्चित पेंशन की राशि हासिल कर सकते हैं.

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इंश्योरेंस प्लान्स

ये पेंशन प्लान बीमा कंपनियों द्वारा मैनेज किए जाते हैं. इसमें निवेशक को पेंशन बेनिफिट के साथ-साथ लाइफ इंश्योरेंस कवर का भी विकल्प मिल सकता है. निवेशक इस प्लान के तहत मंथली या तिमाही भुगतान का विकल्प चुन सकता है. कुछ बीमा कंपनियां इन प्लान्स के लिए सालाना भुगतान की पेशकश भी कर सकती हैं. इन इंश्योरेंस प्लान्स के तहत निवेशक एक निश्चित अवधि में नियमित रूप से राशि का भुगतान करते हैं और रिटायरमेंट के बाद फायदे उठाते हैं.

पोस्ट ऑफिस मंथली इनकम स्कीम (POMIS)

यह पोस्ट ऑफिस द्वारा दी जाने वाली एक सेविंग स्कीम है. POMIS स्कीम के निवेशक को 5 साल की अवधि के लिए फिक्स्ड मंथली इनकम मिलता है.

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म्युचुअल फंड (एन्युटी स्कीम)

कुछ म्युचुअल फंड एन्युटी स्कीम की पेशकश करते हैं. ऐसे स्कीम निवेशकों को नियमित इनकम भी प्रदान करते हैं. ये स्कीम्स पेंशन योजनाओं के समान होते हैं और इस रिटारयमेंट प्लानिंग की तर्ज पर डिज़ाइन की गई होती हैं. बैंक बाजार डॉट कॉम के सीईओ आदिल शेट्टी कहते हैं कि एन्युटी स्कीम रिटायरमेंट के बाद एक स्थिर इनकम प्रदान करने में मदद करती है. वह बताते हैं कि पेंशन एमाउंट बहुत अधिक नहीं होनी चाहिए. पेंशन के लिए प्लानिंग इस बात को दर्शाती है कि निवेशक खुद के घर और बच्चों की पढ़ाई जैसे खर्चों के लिए पहले से ही फाइनेंशियल प्लानिंग कर चुका है. शेट्टी बताते हैं कि घरेलू, स्वास्थ्य और अन्य जरूरतों को पूरा करने के लिए रेगुलर इनकर बनाए रखना जरूरी है और इसे पेंशन फंड में समय पर निवेश करके आसाना बनाया जा सकता है.

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यूनिट लिंक्ड इंश्योरेंस प्लान (ULIP)

यूनिट लिंक्ड इंश्योरेंस प्लान (ULIP) एक तरह का लाइफ इंश्योरेंस प्रोडक्ट है. इसमें निवेशक को लाइफ इंश्योरेंस कवर के साथ-साथ पैसे बनाने का डबल बेनिफिट मिलता है. मतलब ये कि इस प्‍लान में एक तरफ निवेशक को टर्म प्‍लान लाइफ कवर मिलता है, वहीं दूसरी तरफ उसे निवेश करने का मौका भी मिलता है. ULIP प्लान के तहत पॉलिसीधारक द्वारा भुगतान किए गए प्रीमियम का एक हिस्सा जीवन बीमा कवरेज के लिए उपयोग किया जाता है, जबकि शेष हिस्से को पॉलिसीधारक की पसंद के आधार पर इक्विटी, डेट या बैलेंस्ड फंड में निवेश किया जाता है.

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