नई दिल्ली. अगर आपने पर्सनल लोन (Personal Loan) या क्रेडिट कार्ड लोन ले रखा है तो ज्यादा ब्याज भरने के लिए तैयार हो जाइए. जल्द ही बैंक पर्सनल लोन की ब्याज दरें बढ़ा सकते हैं. पर्सनल लोन के इंटरेस्ट रेट में 30-40 आधार अंकों की बढ़ोतरी हो सकती है.
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भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा कंज्यूमर लोन पर रिस्क वेटेज बढ़ाने के कारण अब बैंक भी ब्याज दरों में इजाफा करने पर विचार कर रहे हैं.मनीकंट्रोल की एक रिपोर्ट के अनुसार, देश के तीन बड़े बैंकों के शीर्ष अधिकारियों ने बताया है कि वे पर्सनल लोन की ब्याज दरें जल्द ही बढ़ाने पर विचार कर रहे हैं. कंज्यूमर लोन में हाउसिंग लोन, एजुकेशन लोन, व्हीकल लोन और गोल्ड लोन जैसे ऋण भी आते हैं.
लेकिन आरबीआई ने रिस्क वेटेज केवल पर्सनल लोन पर बढ़ाया है. बाकी पर नहीं.ये भी पढ़ें- NPS से निकाल पाएंगे पूरा पैसा, नियमों में होगा बदलाव, ये है पीएफआरडीए का प्लानबैंकों को होगी ज्यादा कैपिटल की जरूरत एक बैंकर ने बताया कि रिस्क वेटेज बढ़ने से बैंक को ज्यादा कैपिटल की जरूरत होगी. बैंक की कॉस्टिंग बढ़ेगी. इस बढ़े हुए खर्च को बैंक कंज्यूमर पर ही डालेंगे. बैंक 30-40 आधार अंकों की बढ़ोतरी पर्सनल लोन की ब्याज दरों में कर सकते हैं.
खास बात यह है कि इस फैसले का असर नए लोन पर तो होगा ही, जो पुराने पर्सनल लोन पहले से चल रहे हैं, उनकी ब्याज दर भी बढ़ जाएगी.
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वहीं, एक दूसरे बैंकर ने मनीकंट्रोल को बताया कि ज्यादा पूंजी रखने की बाध्यता की वजह से बैंक को पर्सनल लोन पर ब्याज बढ़ाना पड़ेगा. बैंक करीब 40 बीपीएस की वृद्धि पर विचार कर रहा है. इसी तरह के विचार तीसरे बैंकर ने भी प्रकट किए.
भारतीय स्टेट बैंक के चेयरमैन दिनेश खारा पहले ही कह चुके हैं कि अगर बैंकों के फंड की लागत बढ़ने का असर ब्याज दरों पर होगा.बढ़ रहा है अनसिक्योर्ड लोन देश में अनसिक्योर्ड लोन बढ़ रहा है. आरबीआई पिछले कुछ टाइम में रिटल लोन को लेकर थोड़ा सख्त हुआ है, ऐसे में बैंकों की ओर से अनसिक्योर्ड लोन पर खुले हाथ से मिलती मंजूरी को देखकर उसे लगा कि यहां थोड़े कंट्रोल की जरूरत है, इसलिए उसने पिछले दिनों रिस्क वेटेज में 25 फीसदी की बढ़ोतरी कर दी.
देश के सबसे बड़े निजी क्षेत्र के बैंक, एचडीएफसी बैंक ने वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही में अपने व्यक्तिगत ऋण पोर्टफोलियो में 15.5 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की. इसी तरह जुलाई-सितंबर तिमाही में आईसीआईसीआई बैंक का व्यक्तिगत ऋण पोर्टफोलियो 40 प्रतिशत बढ़कर 1.04 लाख करोड़ रुपये और इसका क्रेडिट कार्ड पोर्टफोलियो 29.5 प्रतिशत बढ़कर 43,230 करोड़ रुपये हो गया.क्या होता है रिस्क वेटेज? पर्सनल लोन अनसिक्योर्ड लोन होता है. इसपर सबसे ज्यादा रिस्क होता है क्योंकि इसका कोई कॉलेटरल नहीं होता. इसके डूबने का खतरा सबसे ज्यादा होता है.
ऐसे में आरबीआई बैंकों से कहता है कि वो अनसिक्योर्ड लोन देने के लिए अपने पास एक्स्ट्रा अमाउंट का बफर रखें. आरबीआई चाहता है कि जितना रिस्की लोन हो, वेटेज उतना ही ज्यादा हो. ताकि बैंक खुले हाथ से लोन बांटकर लिक्विडिटी को प्रभावित न करें और मनी डेप्रीसिएशन न हो.