All for Joomla All for Webmasters
जम्मू और कश्मीर

लद्दाख : -35 डिग्री तापमान में आइटीबीपी के हिमवीरों ने 15000 फीट पर गर्मजोशी से फहराया तिरंगा

लद्दाख वास्तविक नियंत्रण रेखा पर 15000 फीट की ऊंचाई पर स्थित सियाचीन पोस्ट पर आइटीबीपी के हिमवीरों ने -35 डिग्री तापमान में राष्ट्र ध्वज फैराने के बाद भारत माता की जय के जयघोष लगाकर यह स्पष्ट संदेश दे दिया कि वे हर दम तैयार हैं।

श्रीनगर, जेएनएन : जब-जब हमारे पड़ोसी देशों ने हम पर बुरी नजर डाली है, हमारे जवानों ने उसका कड़ा जवाब दिया है। -35 डिग्री तापमान में जहां कुछ सेकेंड खड़ा रहना, सांस लेना भी मुश्किल है, वहां देश की सरहदों की रक्षा में तैनात हमारे जांबाज हिमवीरों की गर्मजोशी देशवासियों में राष्ट्रभक्ति व राष्ट्रप्रेम का संचार करती है। लद्दाख वास्तविक नियंत्रण रेखा पर 15000 फीट की ऊंचाई पर स्थित सियाचीन पोस्ट पर आइटीबीपी के हिमवीरों ने -35 डिग्री तापमान में राष्ट्र ध्वज फैराने के बाद भारत माता की जय के जयघोष लगाकर यह स्पष्ट संदेश दे दिया कि वे हर परिस्थिति में खुश हैं और देश के लिए मरने-मारने को हर दम तैयार हैं।

इस बार गणतंत्र दिवस खास है। संपूर्ण भारत वर्ष आजादी के 75वें वर्ष में है। कोरोना वायरस की तीसरी लहर के बावजूद देश  73वें गणतंत्र दिवस की खुशियों को आजादी के अमृत महोत्सव के रूप में मना रहा है। 

आईटीबीपी के हिमवीरों का राष्ट्र को नमन

Happy Republic Day from #Himveers of ITBP

From #Ladakh#RepublicDay2022 #RepublicDay #गणतंत्रदिवस pic.twitter.com/bS1A8pnPlH

विश्व के सबसे ऊंचे युद्ध स्थल सियाचीन सीमा पर तैनात भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के जवानों ने स्वयं राष्ट्रीय ध्वज फहराते हुए वीडियो शेयर किया है। ठंड के मौसम में 15,000 फीट की ऊंचाई पर तिरंगा फहराते जवानों का जोश हाई है। वीडियो में यह दिख भी रहा है। बर्फ के बीच राष्ट्रीय ध्वज पकड़े हुए एक जवान व उसके पीछे लाइन बनाकर खड़े जवानों ने पहले तो तिरंगे को सलामी दी और उसके बाद भारत माता की जय, आइटीबीपी की जय के नारे लगाए। रिहायशी इलाकों से दूर इन बहादुर सैनिकों के वीडियो का ट्विटर पर गर्मजोशी से स्वागत किया जा रहा है। जय हिंद लिखकर लोग सीमा की रक्षा करने वाले इन नायकों की सराहना कर रहे हैं।

आइटीबीपी ने भारत-चीन सीमा पर मनाए गए गणतंत्र दिवस के कई वीडियो अपने ट्वीटर हैंडल पर जारी किए हैं। ये समारोह लद्दाख सीमा और उत्तराखंड सीमा पर आयोजित किए गए थे।

Source :
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

लोकप्रिय

To Top