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झारखंड में सबसे ज्यादा इस्तेमाल होता सरसों तेल, लेकिन 85% लोगों को नहीं पता झांझ की मात्रा

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नई दिल्ली: क्या आप भी खाद्य तेल के रूप में सरसों तेल का इस्तेमाल करते हैं? यदि हां, तो क्या आपको अपने सरसों तेल में मौजूद झांझ की मात्रा की जानकारी है? यह सवाल इसलिए क्योंकि हाल ही में इमामी एग्रोटेक लिमिटेड की तरफ से झारखंड के विभिन्न शहरों में कराए गए ‘झांझ की जांच’ सर्वे में सरसों तेल को लेकर कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं।

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रांची, धनबाद, बोकारो, जमशेदपुर जैसे शहरों में 1,000 से अधिक लोगों के साथ किए गए। इस सर्वे में 85 फीसदी से अधिक लोगों ने माना कि उन्हें वो सरसों तेल का इस्तेमाल तो करते हैं, लेकिन उन्हें उसमें उपलब्ध झांझ की मात्रा की कोई जानकारी नहीं है। हालांकि अधिकतम लोगों ने अधिक झांझ वाले सरसों तेल को खाने में इस्तेमाल के लिए उपयुक्त बताया। इमामी एग्रोटेक लिमिटेड के मार्केटिंग अध्यक्ष देबासिस भट्टाचार्य ने इस मुद्दे पर कई सवालों के जवाब दिए।

सर्वे में चौंकाने वाले खुलासे

देबासीस ने कहा, ‘हम ग्राहकों के बीच ‘नीड गैप एनालिसिस’ करना चाहते थे क्योंकि समय के साथ चीजें बदल रही हैं और संभवतः सरसों तेल को लेकर भी ग्राहकों की इच्छाओं और आकांक्षाओं में बदलाव हो रहा है। इसके लिए हमने खासकर यूपी, बिहार, झारखंड और प. बंगाल के सभी बड़े शहरों में ‘झांझ की जांच’ नाम से एक सर्वे कराया। इसके जरिए लोगों से ये जानने की कोशिश की कि वह अपने घर में मस्टर्ड ऑइल को लेकर वो क्या-क्या सोचते हैं और इसके बारे में वह कितना जानते हैं।’

तीखेपन की जांच

भट्टाचार्य ने बताया कि भारत के उत्तरी और पूर्वी हिस्सों की समृद्ध पाक परंपरा में सरसों तेल महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। हालांकि, दुर्भाग्य से भारत में सरसों तेल ब्रैंड्स के पास उनके तीखेपन के स्तर का कोई मानदंड नहीं है।

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हैरानी की बात है कि अक्सर झांझ की मात्रा एक ही ब्रांड के पैकेट्स में अलग-अलग होती है। उपभोक्ता अनजान होने के कारण ऐसे प्रॉडक्ट खरीद लेते हैं जो शायद उनकी संतुष्टि के अनुरूप नहीं होते हैं।

पहला ब्रैंड बना इमामी

उन्होंने कहा कि उपभोक्ताओं के लिए यह एक अच्छी बात है कि इमामी एग्रोटेक अपने पैक पर तीखापन या झांझ प्रदर्शित करने वाला पहला ब्रैंड बन गया है। भट्टाचार्य ने बताया कि संभवतः यह पहली बार है जब किसी खाद्य तेल कंपनी ने झांझ के स्तर को आंकते हुए अपने प्रॉडक्ट्स में झांझ की मात्रा भी पैकेट पर अंकित किया है ताकि ग्राहकों को उनकी पसंद के मुताबिक अलग-अलग स्तर के झांझ वाले सरसों तेल मिल सकें।

तीन नए प्रॉडक्ट्स लॉन्च

सर्वे के नतीजों के आधार पर और सरसों तेल के बारे में सही जानकारी के साथ उपभोक्ताओं को जागरूक बनाने के इरादे से इमामी एग्रोटेक ने तीन अलग-अलग तीखेपन वाले अनूठे चयन में अपना ‘इमामी हेल्दी और टेस्टी कच्ची घानी सरसों तेल’ पेश किया है, जो माइल्ड (झांझ स्तर: 24%), स्ट्रांग (झांझ स्तर: 30%), और सुपर स्ट्रॉन्ग (झांझ स्तर: 36%) कैटिगरी में पेश किया है।

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प्रत्येक कैटिगरी पर ‘झांझ’ प्रतिशत लेबल के साथ 1 से 5 लीटर तक के पैक्स उपलब्ध हैं। दिसंबर 2023 से बंगाल, यूपी, बिहार और झारखंड आदि जैसे प्रमुख बाजारों में ग्राहक इसकी बिक्री कर सकते हैं।

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