इंडियन इकोनॉमी को लेकर अच्छी खबर आई है. अक्टूबर-दिसंबर तिमाही का चालू खाता घाटा (CAD) घटकर 10.5 अरब डॉलर पर पहुंच गया है.
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Current Account Deficit (CAD): देश का चालू खाते का घाटा (CAD) चालू वित्त वर्ष 2023-24 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में घटकर 10.5 अरब डॉलर यानी सकल घरेलू उत्पाद (GDP) का 1.2% रहा है.
भारतीय रिजर्व बैंक ने मंगलवार को CAD के आंकड़े जारी किए. इससे पिछली जुलाई-सितंबर तिमाही में यह 11.4 अरब डॉलर और एक साल पहले 2022-23 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में 16.8 अरब डॉलर था.
बीते साल की तुलना में FDI घटा
शुद्ध एफडीआई (Foreign Direct Investment) प्रवाह अप्रैल-दिसंबर, 2023 में 8.5 अरब डॉलर रहा. एक साल पहले 2022-23 की इसी अवधि में यह 21.6 अरब डॉलर था.
6 अरब डालर बढ़ा विदेशी मुद्रा भंडार
साथ ही विदेशी मुद्रा भंडार (भुगतान संतुलन आधार पर) में चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में छह अरब डॉलर की वृद्धि हुई. जबकि एक साल पहले इसी तिमाही में इसमें 11.1 अरब डॉलर की वृद्धि हुई थी.
वित्त वर्ष 2023-24 की तीसरी तिमाही के दौरान वस्तु व्यापार घाटा 71.6 अरब डॉलर रहा, जो 2022-23 की इसी तिमाही में 71.3 अरब डॉलर से थोड़ा अधिक है.
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एक्सपोर्ट बढ़ने से कम हुआ CAD
सॉफ्टवेयर निर्यात, व्यापार और यात्रा सेवाओं के बढ़ने से सेवा निर्यात में सालाना आधार पर 5.2% की वृद्धि हुई. शुद्ध सेवा प्राप्तियों में न केवल पिछली तिमाही की तुलना में सालाना आधार पर भी वृद्धि हुई. इससे चालू खाते के घाटे को कम करने में मदद मिली.
वित्तीय खाते के स्तर पर, प्रत्यक्ष विदेशी निवेश में 4.2 अरब डॉलर का शुद्ध प्रवाह हुआ. यह 2022-23 की तीसरी तिमाही के दो अरब डॉलर के शुद्ध प्रवाह का दोगुने से भी अधिक है.
FPI में हुई बढ़ोतरी
चालू तिमाही के दौरान विदेशी पोर्टफोलियो निवेश में 12.0 अरब डॉलर का शुद्ध प्रवाह हुआ, जो एक साल पहले समान तिमाही के 4.6 अरब डॉलर से अधिक है.
देश की बाह्य वाणिज्यिक उधारी मद में 2.6 अरब डॉलर की शुद्ध निकासी हुई, जबकि एक साल पहले यह आंकड़ा 2.5 अरब डॉलर था.
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प्रवासी जमा में 3.9 अरब डॉलर का शुद्ध प्रवाह हुआ जो एक साल पहले 2.6 अरब डॉलर था.