Chanakya Niti: आचार्य चाणक्य को एक महान शिक्षाविद्, राजनीतिक, कूटनीतिज्ञ व अर्थशास्त्री माना गया है। आचार्य चाणक्य ने अपने जीवन के हर पहलू से जुड़ी बातें अपने ग्रंथ नीति शास्त्र में बताई हैं। आचार्य चाणक्य की नीतियां आज भी प्रासंगिक हैं। आचार्य चाणक्य ने अपनी नीतियों में व्यक्ति को सफल जीवन जीने के कई बातें बताई है। इन्हीं में से उन्होंने बताया है कि आखिर वह कौन सी चीज है। अगर उसकी कमी भी हो जाएं, तभी भी व्यक्ति को अपने सगे-संबंधियों के पास बिल्कुल भी नहीं जाना चाहिए।
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श्लोक
वरं वनं व्याघ्रगजेन्द्रसेवितं द्रुमालयः पत्रफलाम्बु सेवनम्। तृणेशु शय्या शतजीर्णवल्कलं न बन्धुमध्ये धनहीनजीवनम्॥
धनहीन होने पर न लें सगे-संबंधियों की मदद
आचार्य चाणक्य ने इस श्लोक द्वारा कहा है कि व्यक्ति बाघ, हाथी और सिंह जैसे भयंकर जीवों से घिर हुए वन में रहकर, वृक्ष पर घर बनाकर, फल – पत्ते खाकर और पानी पीकर अपना जीवन यापन कर लें। धरती पर घास –फूस बिछाकर सो लें और फटे –पुराने या फिर वृक्षों की छल को ओढ़कर शरीर को ढक लें। लेकिन धनहीन होने के बाद कभी भी अपने सगे संबंधियों के साथ न रहें, वरना जीवन अधिक पीड़ादायक हो सकता है।
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आचार्य चाणक्य के अनुसार, व्यक्ति को कभी न कभी शारीरिक, मानसिक या फिर आर्थिक समस्याओं का सामना करता है। वह शारीरिक, मानसिक और परिवारिक समस्याओं से किसी न किसी तरह से छुटकारा पा लेता है। लेकिन जब बात आर्थिक स्थिति की आती है और वह बिल्कुल कंगाल हो जाता है, तो ऐसे समय में वह अपने सगे-संबंधियों का दरवाजा खटखटाता है। उनसे निवेदन करते हैं कि थोड़ी सी पैसों की जरूरत पूरी कर दें या फिर अपने घर में थोड़े दिन के लिए सहारा दे दे। ऐसे में आचार्य चाणक्य ने लोगों को चेताया है कि आप धनहीन होने के बाद जीवन के हर एक कष्ट को झेल लें। इसके लिए आप चाहे, तो भयानक जानवरों से भरे जंगल में अपना घर बना लें या फिर पहनने के लिए पत्तों का इस्तेमाल करें या फिर खाने के लिए फूल-फल पर निर्भर रहें। इस अवस्था में आपको सुकून मिल सकता है।
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अगर आप किसी सगे संबंधियों के सहारे रहें, तो पूरी जिंदगी आपको उनका ऋणी रहना पड़ सकता है। उनके द्वारा की गई छोटी सी मदद भी भी काल हो सकती है। वह आपको इसके लिए जिंदगी भर सुना सकते हैं कि एक समय में मैंने आपकी मदद की थी जब आपके पास खाने तक के लिए पैसे नहीं थे। ऐसे में आपको हमेशा अपने सगे-संबंधियों के सामने झुकना पड़ेगा। इसके साथ ही विभिन्न तरह की बातें भी सुननी पड़ सकती है। इसलिए अगर आप चाहते हैं कि जीवन भर किसी के बोझ के तले न दबे रहें, तो इसके लिए कुछ समय के लिए कठिनाईयों का सामना कर लें। इसके बाद पूरा जीवन आराम से बीत सकता है।