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मनीष सिसोदिया मतलब आधी दिल्ली सरकार! अब 2024 में कैसे होगा AAP का बेड़ा पार, जानें अरविंद केजरीवाल की पहली बड़ी चुनौती

Manish Sisodia Arrest: दिल्ली सरकार की वेबसाइट के मुताबिक कुल 33 विभाग हैं. इनमें से मनीष सिसोदिया स्वास्थ्य, शिक्षा, लोक निर्माण विभाग (PWD), सेवा विभाग, वित्त, बिजली, गृह और शहरी विकास सहित कुल 18 विभागों की देखभाल करते हैं. वह अन्य उन सभी विभागों के प्रभारी भी हैं, जो विशेष रूप से किसी मंत्री को आवंटित नहीं किए गए हैं.

नई दिल्ली: अरविंद केजरीवाल सरकार अपने उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को सीबीआई द्वारा गिरफ्तार करने के साथ संभावित संकट को देख रही है, जिनके पास शिक्षा, वित्त और गृह सहित कुल 33 विभागों में से 18 हैं. पिछले साल जून में दिल्ली के तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन के बाद मनीष सिसोदिया कथित भ्रष्टाचार के मामले में गिरफ्तार होने वाले दिल्ली सरकार के दूसरे मंत्री हैं. आम आदमी पार्टी दिल्ली की जिस शिक्षा व्यवस्था और स्वास्थ्य सेवाओं का एक बेहतरीन मॉडल के रूप में प्रचार करती है, जिसने पार्टी की लोकप्रियता और निरंतर चुनावी सफलता में योगदान दिया है, उन दोनों विभागों का नेतृत्व क्रमश: मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन ने भी किया है.

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इन दोनों नेताओं की अनुपस्थिति में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पास दिल्ली में अपने शासन के एजेंडे को लागू करने के लिए कोई भारी-भरखम और विश्वसनीय लेफ्टिनेंट नहीं बचा है. अरविंद केजरीवाल के लिए तत्काल चुनौती दिल्ली सरकार का बजट है, जिसे आगामी कुछ दिनों में पेश किया जाना है. उससे पहले केजरीवाल को मनीष सिसोदिया का रिप्लेसमेंट ढूंढना होगा. आम आदमी पार्टी के सूत्रों ने बताया कि राजस्व मंत्री कैलाश गहलोत अगले वित्त वर्ष के लिए दिल्ली सरकार का बजट पेश कर सकते हैं. जैसा कि एक संभावना थी कि उपमुख्यमंत्री को सीबीआई द्वारा गिरफ्तार किया जा सकता है, गहलोत पिछले कुछ दिनों से बजट से संबंधित बैठकों में भाग ले रहे थे.

आम आदमी पार्टी के एक पदाधिकारी ने पीटीआई-भाषा से कहा, कैलाश गहलोत के 2023-24 का बजट पेश करने की संभावना है. इसे अगले महीने पेश किया जाना है. दिल्ली सरकार की वेबसाइट के मुताबिक कुल 33 विभाग हैं. इनमें से मनीष सिसोदिया स्वास्थ्य, शिक्षा, लोक निर्माण विभाग (PWD), सेवा विभाग, वित्त, बिजली, गृह और शहरी विकास सहित कुल 18 विभागों की देखभाल करते हैं. वह अन्य उन सभी विभागों के प्रभारी भी हैं, जो विशेष रूप से किसी मंत्री को आवंटित नहीं किए गए हैं. अरविंद केजरीवाल के अलावा, दिल्ली सरकार में 6 कैबिनेट मंत्री हैं, जिनमें जेल में बंद सत्येंद्र जैन भी शामिल हैं, जो अब भी बिना विभाग के मंत्री हैं. उनको प्रवर्तन निदेशालय ने पिछले साल मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया था.

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पर्यावरण मंत्री गोपाल राय के पास केवल 3 विभाग हैं, जबकि इमरान हुसैन के पास केवल 2 विभाग हैं- खाद्य और नागरिक आपूर्ति और चुनाव. कैलाश गहलोत राजस्व और परिवहन सहित छह विभागों के प्रभारी हैं, जबकि राज कुमार आनंद के पास चार विभाग हैं. सीबीआई ने 2021-22 के लिए आबकारी नीति (अब समाप्त हो चुकी) के निर्माण और कार्यान्वयन में कथित भ्रष्टाचार के सिलसिले में लगभग आठ घंटे की पूछताछ के बाद रविवार शाम को मनीष सिसोदिया को गिरफ्तार किया, जो अरविंद केजरीवाल के करीबी हैं. एजेंसी द्वारा पिछले साल 17 अगस्त को मामला दर्ज किए जाने के बाद सिसोदिया से पूछताछ का यह दूसरा दौर था. उनसे पिछले साल 17 अक्टूबर को पूछताछ की गई थी.

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी को ‘गंदी राजनीति’ करार दिया और कहा कि उनके डिप्टी निर्दोष हैं. उन्होंने ट्वीट किया, ‘मनीष बेकसूर है. उसकी गिरफ्तारी गंदी राजनीति से प्रेरित है. इसने लोगों को बहुत नाराज किया है. जनता सब कुछ देख रही हैं और सब समझती है, लोग इसका जवाब देंगे. इससे हमारा हौसला बढ़ेगा और हमारा संघर्ष और मजबूत होगा. मनीष के परिवार से मिलकर आया हूं. उनकी धर्मपत्नी और माताजी से मिला. उनको भरोसा दिया कि हम सब उनके साथ हैं, मनीष एक सच्चे देशभक्त हैं और देश के लोगों और बच्चों के भविष्य के लिए लड़ रहे हैं. भगवान उनके साथ हैं.’

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