All for Joomla All for Webmasters
समाचार

Mukhtar Ansari Death: देश-विदेश तक फैला था माफ‍िया मुख्तार का यह कारोबार, तस्‍करी कर कमाए खूब रुपये

Mukhtar Ansari Death मुख्तार अंसारी गिरोह से संबंध रखने वाले मछली कारोबारियों ने आंध्र प्रदेश को अपनी आर्थिक राजधानी बनाया था। यहां से बिहार के छपरा मुजफ्फरनगर सहित कई जिलों में मछलियों की आपूर्ति होती थी। साथ ही मऊ गाजीपुर आजमगढ़ वाराणसी सहित पूरे पूर्वांचल में इनका साम्राज्य फैला हुआ था। गिरोह प्रतिदिन 50 से सौ ट्रक मछली का कारोबार करता था।

जागरण संवाददाता, वाराणसी। Mukhtar Ansari Death मुख्तार का आर्थिक साम्राज्य विदेशों तक फैला हुआ था। उसका गिरोह हर उस कारोबार में हाथ डालता था जिसमें कमाई होती थी। उसकी मोटी कमाई का जरिया मछली कारोबार था जिसकी जड़ें देश के कई राज्यों समेत नेपाल व बैंकाक तक भी फैली थीं।

ये भी पढ़ें– Nirmala Sitharaman Net Worth: पैसों की कमी के चलते चुनाव लड़ने से इनकार, जानें वित्त मंत्री की कितनी है नेटवर्थ?

मुख्तार अंसारी गिरोह से संबंध रखने वाले मछली कारोबारियों ने आंध्र प्रदेश को अपनी आर्थिक राजधानी बनाया था। यहां से बिहार के छपरा, मुजफ्फरनगर सहित कई जिलों में मछलियों की आपूर्ति होती थी। साथ ही मऊ, गाजीपुर, आजमगढ़, वाराणसी सहित पूरे पूर्वांचल में इनका साम्राज्य फैला हुआ था। गिरोह प्रतिदिन 50 से सौ ट्रक मछली का कारोबार करता था। गिरोह को एक ट्रक मछली से डेढ़ से दो लाख रुपये तक आय होती थी।

मुख्तार के आर्थिक साम्राज्य को तोड़ने में लगी पुलिस को जानकारी मिली थी कि एक ट्रक में करीब 20 लाख रुपये की मछली आती थी। मुख्तार ने अपने काले कारोबार की शुरुआत मंडी के ठेके से की थी। इसी चक्कर में उसने पहली बार हत्या की थी। उसने रेलवे का स्क्रैप और कोयले के कारोबार में भी खूब रुपये कमाए।

ये भी पढ़ें– Delhi Excise Case: अरविंद केजरीवाल की रिमांड बढ़ी, अब 1 अप्रैल तक ED की हिरासत में रहेंगे दिल्ली के सीएम

एक समय ऐसा भी था कि पूर्वांचल से लेकर पश्चिम यूपी तक रेलवे के स्क्रैप और कोयले का कोई ठेका बिना मुख्तार की सहमति के नहीं उठता था। वर्ष 1995 के बाद उन्नाव के एमएलसी अजीत सिंह ने इस धंधे में अपनी दखल दी। उससे मिली चुनौती को खत्म करने के लिए मुख्तार ने अतीक अहमद से हाथ मिला लिया था। इसके बदले अतीक ने पूर्वांचल में विवादित संपत्तियों की खरीदारी के धंधे में मुख्तार को एंट्री दी थी।

ये भी पढ़ें– Weather Update: कहीं बर्फबारी तो कहीं चढ़ने लगा है पारा, राजस्थान में बढ़ रहा तापमान, दिल्ली-पंजाब में छिटपुट बारिश!

मुख्तार गिरोह सरकारी विभागों के ठेके में भी अपनी दखलअंदाजी करता था। रेशम की तस्करी, मोबाइल टावर के रख-रखाव के ठेके से भी अच्छी कमाई करता था। उसके गुर्गे नशे के कारोबार में भी शामिल हो गए थे। इससे उन्होंने खूब रुपये बनाए।

Source :
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

लोकप्रिय

To Top